आगरा :'मौत वाली मॉकड्रिल' से सुर्खियों में आए पारस हॉस्पिटल के मामले में हर दिन नया खुलासा हो रहा है. आगरा और आसपास के जिलों से पीड़ित सामने आ रहे हैं. अब तक एडीएम सिटी की अध्यक्षता वाली समिति के सामने 10 शिकायत पहुंची हैं. जिनमें पीड़ित परिवार का आरोप है कि, 'मौत वाली मॉकड्रिल' में उनके 'अपनों' की हत्या हॉस्पिटल संचालक डॉ अरिंजय जैन ने की थी. इन शिकायतों से जिला प्रशासन के 26 और 27 अप्रैल को बताए गए मौत के आंकड़ों की पोल खुल रही है. जैसे-जैसे 'मौत वाली मॉकड्रिल' से जूड़ी परतें खुल रही हैं, वैसे-वैसे हॉस्पिटल संचालक डॉ. अरिंजय जैन की मुश्किलें बढ़ रही हैं.
श्री पारस अस्पताल प्रकरण: खुल रही परतें, बढ़ रही हॉस्पिटल संचालक की मुश्किलें
आगरा के पारस हॉस्पिटल की 'मौत वाली मॉकड्रिल' की परतें जैसे-जैसे खुल रही हैं, अस्पताल संचालक की मुश्किलें बढ़ती जा रही हैं. मॉकड्रिल वाली तारीख, यानी 26 अप्रैल को जिन लोगों की मौत हुई थी, उनके परिजन अब धीर-धीरे सामने आ रहे हैं, और अस्पताल संचालक पर गंभीर कार्रवाई की मांग कर रहे हैं.
श्री पारस अस्पताल प्रकरण
एडीएम सिटी डॉ. प्रभाकांत अवस्थी ने बताया कि, पारस हॉस्पिटल के मामले में शुक्रवार तक 10 शिकायत पत्र मिले हैं. शिकायत और प्रत्यावेदन में परिजनों ने 26 और 27 अप्रैल को ऑक्सीजन कमी से मरीजों की मौत का आरोप है. जिसमें सभी साक्ष्य जुटाने के साथ पक्षों के बयान दर्ज किए जाएंगे. इनकी तीन दिन में जांच पूरी करके आरोपों की सत्यता जांच की जाएगी. इसके साथ ही इस मामले में पीड़ित परिवार उनके कलेक्ट्रेट स्थित कार्यालय में शिकायत पत्र दे सकते हैं.
सीएमओ डॉ. आरसी पांडेय ने 'मौत वाली मॉकड्रिल' के मामले में पारस हॉस्पिटल का लाइसेंस तत्काल प्रभाव से निलंबित करके हॉस्पिटल संचालक डॉ अरिंजय जैन को नोटिस दिया था. उसका भी जबाव अभी सीएमओ को नहीं मिला है. इसके साथ ही सीएमओ ने मामले की जांच एसीएमओ डॉ. वीरेंद्र भारती एसीएमओ डॉ. संजीव वर्मन की दो दिन में मांगी थी. मगर, कमेटी की जांच रिपोर्ट अभी तक पूरी नहीं हुई है. इस बारे में सीएमओ डॉ. आरसी पांडेय का कहना है कि, व्यक्तिगत काम से एसीएमओ डॉ. वीरेंद्र भारती छुट्टी पर गए हैं. इस वजह से जांच रिपोर्ट नहीं मिली है.
डेथ सर्टिफिकेट जारी, लिस्ट से नाम गायब
पारस हॉस्पिटल की एक-एक परतें खुलती जा रही हैं. 26 और 27 अप्रैल को मरने वाले मरीजों के परिजन सामने आ रहे हैं. अब कई ऐसे पीड़ित सामने आए हैं, जिन्हें पारस हॉस्पिटल प्रबंधन ने डेथ सर्टिफिकेट भी दिए हैं. मगर, प्रशासन को भेजी गई सूची में उनके 'अपनों' का नाम ही नहीं हैं. ये परिवार भी मामले की जांच कराने की मांग कर रहे हैं.
मुकदमे में बढ़ सकती हैं गंभीर धाराएं
डीएम प्रभु नारायण सिंह का कहना है कि, एडीएम सिटी की अध्यक्षता में बनी कमेटी के पास मरीजों के परिजनों की शिकायत मिल रही हैं. हर शिकायत की जांच होगी. जांच रिपोर्ट के आधार पर न्यू आगरा थाना में पारस हॉस्पिटल के संचालक डॉ अरिंजय जैन के खिलाफ दर्ज मुकदमे में गंभीर धाराएं बढ़ाई जा सकती हैं.
यह था मामला-
ताजनगरी में आगरा-दिल्ली हाईवे पर स्थित पारस हॉस्पिटल संचालक डॉ अरिंजय जैन का, सात जून को चार वीडियो वायरल हुए थे. जिसमें डॉ. अरिंजय जैन अपने हॉस्पिटल में भर्ती कोविड-19 मरीजों की पांच मिनट ऑक्सीजन हटाने की 'मॉकड्रिल' की बात कर रहे हैं. यह 'मॉकड्रिल' 26 अप्रैल-2021 को हुई थी. उस समय हॉस्पिटल में 96 मरीज भर्ती थे. जिसमें से गंभीर 22 मरीजों की हालत खराब हो गई थी. इस मामले के तूल पकड़ने और हड़कंप मचने पर जिला प्रशासन ने पारस हॉस्पिटल को सील करके डॉ. अरिंजय जैन के खिलाफ महामारी एक्ट का मुकदमा दर्ज कराया है.