आगरा:प्रदेश में कोरोना को महामारी घोषित हो गया है और इसे लेकर पूरे राज्य में मॉल, सिनेमा घर और स्कूलों को बंद करने के आदेश दिए गये हैं. लेकिन, जिले में हाईस्कूल और इंटरमीडिएट की बोर्ड परीक्षा की मूल्यांकन कार्य में लगे शिक्षकों के स्वास्थ्य से खिलवाड़ किया जा रहा है. योगी सरकार ने भले ही दावे किए, कि मूल्यांकन केंद्रों को सैनिटाइज्ड किया जाएगा और एक एक मीटर की दूरी पर बैठकर शिक्षक मूल्यांकन करेंगे. लेकिन आगरा में हकीकत इससे परे है.
ईटीवी भारत ने सोमवार के आगरा में मूल्यांकन केंद्र बनाए गए बेप्टिस इंटर कॉलेज का रियलिटी चेक किया तो चौंकाने वाली बात सामने आई. यहां क्षमता से ज्यादा शिक्षकों से मूल्यांकन कराया जा रहा है. बैठने की व्यवस्था नहीं है. मूल्यांकन रूम सेनेटाइज्ड नहीं किए गए हैं. न ही कोई सैनिटाइजर की व्यवस्था की गई है. ऐसे में मूल्याकंन कार्य में लगे शिक्षक घबराए हुए हैं.
आगरा में हाईस्कूल और इंटरमीडिएट की उत्तर पुस्तिकाओं के मूल्यांकन के लिए पांच मूल्यांकन केंद्र बनाए गए हैं. मूल्यांकन केंद्र जीआईसी, आरबीएस इंटर कॉलेज, बेप्टिस इंटर कॉलेज, नगर निगम इंटर कॉलेज और फतेहचंद इंटर कॉलेज है.
शिक्षक जय सिंह ने बताया कि यहां पर किसी भी नियम फॉलो नहीं किया जा रहा है. शिक्षकों के बैठने के बीच में एक-एक मीटर की दूरी होनी चाहिए. लेकिन एक ही टेबल पर 6-6 शिक्षक बैठाए हैं. ऐसे में शिक्षकों के बीच की दूरी एक फुट भी नहीं रह गयी है. ऐसे माहौल में कोई भी शिक्षक बैठने के लिए तैयार नहीं है.
शिक्षिका सोनाक्षी तोमर ने बताया कि, ऐसे माहौल में हम बिल्कुल भी कॉपी चेक करना नहीं चाहते हैं. क्योंकि यहां पर एक ही टेबल पर छह-छह लोग बैठे हुए हैं. 6 इंच का भी गैप नहीं है. पानी और अन्य व्यवस्थाओं की बात दूर इस जगह को सैनिटाइज्ड भी नहीं किया गया है. शिक्षक चाहते हैं कि, मूल्यांकन कार्य को थोड़े दिन के लिए स्थगित कर दिया जाए और जब माहौल ठीक हो जाए तो कॉपियां चेक की जाएं.