आगरा: G-20 2023 की मेजबानी भारत कर रहा है. G-20 देशों के प्रतिनिधि आगरा आएंगे. इसकी तैयारियां जोर-शोर से चल रही है. विदेशी मेहमान ताजनगरी में सेमिनार करेंगे. विदेशी मेहमानों की अगवानी को ताजनगरी दुल्हन सी सजेगी. विदेशी मेहमान ताजमहल के साथ आगरा किला, फतेहपुर सीकरी और अन्य स्मारक का भ्रमण भी करेंगे. इसी के मद्देनजर सोमवार को सीआइएसएफ के आईजी, जिला प्रशासन, पुलिस और भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण विभाग (ASI) अधिकारियों ने ताजमहल का निरीक्षण किया.
सीआइएसएफ के आईजी ने सुरक्षा व्यवस्था से जुड़े अहम बिंदुओं की जानकारी ली. इसके साथ ही जिला प्रशासन, पुलिस, एएसआई और सीआईएसएफ के अधिकारी ने एक बैठक की. इसमें सुरक्षा के अहम बिंदुओं पर मंथन किया गया.
ताजमहल पहुंचे सीआईएसएफ के आईजी. बता दें कि भारत अब G-20 ग्रुप का अध्यक्ष है. एक दिसंबर 2022 से पीएम मोदी ने अध्यक्षता की कमान संभाल ली है. पहले दिन देशभर के 100 स्मारक दूधिया रोशनी में जगमग करके जश्न मनाया गया. अब एक साल तक भारत में G-20 के तमाम कार्यक्रम अलग-अलग प्रदेश और शहरों में होंगे. इसमें हम यूपी की बात करें तो राजधानी लखनऊ, बनारस, नोएडा और आगरा में G-20 के कॉन्क्लेव और सेमिनार होंगे. केन्द्र सरकार और संस्कृति मंत्रालय ने आगरा में G 20 के कल्चरल कोर ग्रुप की बैठक कराने की प्लानिंग की है. इस वजह से G-20 की कल्चरल कोर ग्रुप से पहले आगरा एडवांस टीम आएगी. इसको लेकर जिला प्रशासन, पुलिस, एएसआई और सीआइएसएफ ने तैयारी शुरू कर दी है. सोमवार को अफसरों ने दिनभर बैठक की. इसमें ताजमहल, आगरा किला और फतेहपुर सीकरी में मेहमानों के भ्रमण के दौरान सुरक्षा पर चर्चा की.
आगरा एयरपोर्ट से शिल्पग्राम और ताजमहल के पूर्वी गेट तक सड़क चमाचम होगी. सड़क किनारे का अतिक्रमण और झुग्गी झोपड़ी हटाई जाएगी. आगरा किला के सामने अवैध तरीके से झुग्गी झोपड़ी बनाकर रहने वालों को हटाया जाएगा. इस बारे में आगरा डीम ने आगरा किला और फतेहपुर सीकरी में मौके पर अधिकारियों के साथ निरीक्षण किया था. इसमें बदहाल सड़क बनाने के निर्देश दिए हैं. डीएम नवनीत सिंह चहल ने बताया कि सड़क किनारे अतिक्रमण हटाया जाएगा. यह गैरकानूनी है और अवैध है.
फतेहपुर सीकरी में भी G-20 का प्रतिनिधि मंडल जाएगा. वहां पर भी विशेष व्यवस्था की जा रही है. इसको लेकर अभी से तैयारियां की जा रही हैं. इसमें आगरा कैंट रेलवे स्टेशन से फतेहपुर सीकरी स्मारक तक सैलानियों के लिए अतिरिक्त इलेक्ट्रिक (ई) बसें संचालित की जाएंगी. इससे यात्रियों को किसी तरह की कोई दिक्कत नहीं होगी.
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