वाराणसी :जनपद मेंईवीएम को लेकर जा रहे वाहनों को समाजवादी पार्टी के कार्यकर्ताओं द्वारा पकड़े जाने के बाद शुरू हुआ विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है. इसी कड़ी में बुधवार को लखनऊ के रमाबाई रैली स्थल के पास समाजवादी पार्टी के एमएलसी उदयवीर सिंह ने एक प्रेस कांफ्रेंस करते हुए मौजूदा प्रशासनिक अधिकारियों और चुनाव आयोग की कार्यप्रणाली पर सवाल उठाए. उदयवीर सिंह ने कहा कि आज स्थिति यह है कि अगर सपा प्रशासनिक अधिकारियों से सवाल पूछती है तो जवाब देने के लिए भाजपा के प्रवक्ता सामने आते हैं.
उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव 2022 की मतगणना कल होनी है. राजधानी लखनऊ के सभी 9 विधानसभा सीटों की मतों की मतगणना आशियाना थाना क्षेत्र स्थित रमाबाई रैली स्थल पर होनी गुरुवार को होनी है. इसके लिए सभी पार्टी के कार्यकर्ता सुरक्षा और निगरानी के लिए रमाबाई रैली स्थल के पास ही टेंट लगाकर बैठे हुए हैं.
मंगलवार को वाराणसी जिले में तीन वाहनों में ईवीएम लेकर जाने की सूचना मिलते ही समाजवादी पार्टी के कार्यकर्ताओं ने वाहनों को घेर लिया. उनमें से दो वाहन भाग खड़े हुए लेकिन एक वाहन को समाजवादी पार्टी के कार्यकर्ताओं ने रोक लिया. इसमें से ईवीएम निकली. इस मामले में वाराणसी के डीएम ने बाद में अपना पक्ष रखते हुए बताया कि यह ईवीएम प्रशिक्षण के लिए ले जाई जा रही है लेकिन इस घटना के बाद समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने समाजवादी पार्टी के कार्यकर्ताओं से ईवीएम की सुरक्षा में जुट जाने का आह्वान किया है.
सपा एमएलसी उदयवीर सिंह ने सरकार और प्रशासनिक अधिकारियों पर जमकर निशाना साधा. उन्होंने कहा कि सवाल प्रशासनिक अधिकारी से पूछा जाता है, जवाब भारतीय जनता पार्टी के लोग देते हैं. आखिर ऐसी स्थिति क्यों हो रही है कि प्रशासन के लोगों को माफी मांगनी पड़ रही है.
इस दौरान उन्होंने कहा कि सरोजिनी नगर विधानसभा से भाजपा प्रत्याशी राजेश्वर सिंह की पत्नी चुनाव के समय भी लखनऊ में आईजी के पद पर बनी रही. यह भी बहुत बड़ा सवाल है. समाजवादी पार्टी में इसको लेकर कई बार चुनाव आयोग को लिखित शिकायत भी की थी. प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान समाजवादी पार्टी के कार्यकर्ताओं और पदाधिकारियों को ईवीएम पर निगरानी रखने का निर्देश दिया.
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गौरतलब है कि सपा प्रत्याशी लगातार प्रशासनिक अधिकारियों की कार्यप्रणाली पर सवालिया निशान खड़ा कर रहे हैं. चाहे बरेली में नगर निगम की कूड़ा गाड़ी में बैलेट पेपरों का मिलना हो, चाहे राजधानी के रमाबाई रैली स्थल के अंदर एसीएम की गाड़ी से छेनी, हथोड़ा पलास और पेचकस बरामद करने का मामला हो. वाराणसी में ईवीएम से भरी गाड़ी को पकड़ने का मामला हो इसी को लेकर आज सपा के एमएलसी उदयवीर सिंह ने प्रेस कांफ्रेंस कर अपने कार्यकर्ताओं और पदाधिकारियों से प्रत्येक क्षण सतर्क रहने तथा मतगणना होने तक निरंतर निगरानी बनाए रखने को लेकर दिशा-निर्देश दिए.
प्रशासन ईवीएम ट्रेनिंग को लेकर पूरी तरह से सतर्क हो चुका है क्योंकि कमिश्नर दीपक अग्रवाल ने ईवीएम को निकाले जाने और दूसरे जगह पर पहुंचाने को लेकर बरती गई लापरवाही की बात को माना भी है. उनका साफ तौर पर करना था कि ईवीएम को बाहर ले जाने के लिए नियम है लेकिन इस नियम का पालन नहीं किया गया. इसकी वजह से यह बेवजह का हंगामा खड़ा हुआ. हालांकि ईवीएम पूरी तरह से सुरक्षित है और जिस ईवीएम को लेकर हंगामा हुआ. वह प्रशिक्षण वाली ईवीएम थी ही नहीं.
हालांकि इन सबके बीच यूपी कॉलेज में हो रहे प्रशिक्षण कार्यक्रम में ईवीएम की जगह प्रशासन ने डिजिटल तरीके से कर्मियों को ईवीएम से काउंटिंग की जानकारी दी है. ईवीएम ट्रेनिंग को लेकर वाराणसी जिलाधिकारी कौशल राज शर्मा की तरफ से बताया गया कि 10 मार्च को होने वाले मतगणना कार्यक्रम को लेकर आज यूपी कॉलेज में 928 कॉउटिंग कर्मचारियों का प्रशिक्षण 16 कमरों में बिना ईवीएम प्रोजेक्टर और वीडियो के आधार पर किया गया.
जिलाधिकारी वाराणसी का कहना है कि इसके पहले ईवीएम मशीन के साथ एक ट्रेनिंग हो चुकी थी और यह द्वितीय फाइनल ट्रेनिंग थी लेकिन इंडियन को लेकर हुए हंगामे की वजह से द्वितीय प्रशिक्षण का कार्य बगैर ईवीएम मशीनों के ही पूरा किया गया है. वाराणसी के पहड़िया मंडी में मंगलवार देर रात तक ईवीएम को लेकर हंगामे के बाद चुनाव प्रेक्षक की उपस्थिति में बाहर लेकर जाई जा रही ईवीएम को चेक करवाया गया जिसमें सभी डेमो ईवीएम निकले. वहीं, जिलाधिकारी ने इस संबंध में बताया कि बुधवार को एक हजार कर्मचारियों की डेमो ईवीएम पर ट्रेनिंग होनी थी. उसी इवीएम को लेकर जाया जा रहा था.