लखनऊ. उत्तर प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम (Uttar Pradesh State Road Transport Corporation) की बसों के कभी ऐसे दृश्य सामने आते हैं कि यात्री ही उतरकर धक्का लगाते हुए दिखते हैं. बसों की हालत देखकर लगता है कि यह सड़क पर चलने ही लायक नहीं हैं. बारिश में पानी टपकता है. अब ऐसी बसों का तो रोडवेज प्रशासन कायाकल्प योजना के तहत कायाकल्प कर ही रहा है, लेकिन अब अपनी छवि और भी बेहतर करने के साथ ही अधिक यात्रियों को बेहतर सफर की सुविधा देने के लिए परिवहन निगम प्रशासन ने आठ राज्यों तक जाने वाली 2306 बसों की हालत सुधारने का फैसला लिया है. नेपाल जाने वाली चार बसों का भी कायाकल्प किये जाने का निर्णय लिया गया है.
आठ राज्यों के लिए संचालित अंतरराज्जीय बसों का होगा कायाकल्प, निगम मुख्यालय करेगा भुगतान
उत्तर प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम (Uttar Pradesh State Road Transport Corporation) की बसों के कभी ऐसे दृश्य सामने आते हैं कि यात्री ही उतरकर धक्का लगाते हुए दिखते हैं. बसों की हालत देखकर लगता है कि यह सड़क पर चलने ही लायक नहीं है. बारिश में पानी टपकता है. अब ऐसी बसों का रोडवेज प्रशासन कायाकल्प योजना के तहत कायाकल्प कर ही रहा है.
परिवहन निगम के जनसंपर्क अधिकारी अजीत सिंह ने बताया कि सुविधाजनक यात्रा के लिए बसों की बॉडी, सीटों आदि को ठीक कराये जाने का फैसला लिया गया है. इसमें जो भी खर्च आएगा, उसका भुगतान निगम मुख्यालय विभिन्न क्षेत्रों को करेगा. उन्होंने बताया कि रोडवेज की 706 बसें उत्तराखंड, 1318 दिल्ली, 52 मध्य प्रदेश, 124 राजस्थान, 102 हरियाणा, दो पंजाब और दो बसें बिहार के लिए संचालित की जा रही हैं. नेपाल के लिए चार बसों का संचालन किया जा रहा है.
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जनसंपर्क अधिकारी अजीत सिंह ने बताया कि दीपावली और छठ पर उमड़ने वाली भीड़ को देखते हुए इन बसों को बेहतर बनाए जाने का काम भी शुरू हो चुका है. रोडवेज की सभी बसों को कायाकल्प योजना के तहत दुरुस्त कराया जा रहा है. जिससे यात्रियों को सफर में कोई दिक्कत न हो.
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