लखनऊ:योगी आदित्यनाथ सरकार प्रदेश के नवसृजित नगर निकायों में शहरी सुविधाएं पहुंचाने के लिए प्रयासरत है. विगत 5 वर्षों में 200 नगर निकायों का नवसृजन, सीमा विस्तार और उच्चीकरण किया गया है. इस क्रम को आगे बढ़ाते हुए हाल ही में सीएम योगी आदित्यनाथ ने ‘मुख्यमंत्री नगर सृजन योजना’ की घोषणा की है. इस योजना के तहत नवसृजित नगर निकायों के निवासियों को शहरों की तर्ज पर अच्छी सड़क, बिजली, पेयजल, ठोस अपशिष्ट प्रबंधन, मार्ग प्रकाश व्यवस्था जैसी मूलभूत नागरिक सुविधाएं उपलब्ध कराना है. नगर विकास विभाग की ओर से निदेशक, नगरीय निकाय निदेशालय, सभी जिलाधिकारियों एवं नगर आयुक्तों को योजना के मार्गदर्शी सिद्धातों की सूची जारी की है. गौरतलब है कि वर्तमान में प्रदेश में कुल 751 नगर निकाय हैं, जिनमें 17 नगर निगम, 199 नगर पालिका परिषद एवं 535 नगर पंचायतें हैं.
मूलभूत नागरिक सुविधाओं का सृजन
योजना के तहत जिन गांवों को नगर निकायों का दर्जा दिया गया है, वहां मूलभूत नागरिक सुविधाओं का सृजन किया जा रहा है. इनमें मार्ग निर्माण एवं जल निकासी, मार्ग प्रकाश, सामुदायिक केंद्र, मुख्य व्यापारिक क्षेत्रों के सौंदर्यीकरण, प्रमुख चौराहों का विकास एवं सौंदर्यीकरण, पार्क का विकास, स्कूल एवं आंगनबाड़ी केंद्र शामिल है. योजना की खास बात यह है कि इसके माध्यम से किए जाने वाले कार्यों की समय-समय पर समीक्षा की जाएगी. साथ ही कार्यों में पारदर्शिता एवं गुणवत्ता का पूरा ध्यान रखा जाएगा और विकास कार्यों में नवाचार प्री फैब/प्री कॉस्ट कंक्रीट निर्माण तकनीकी का उपयोग किया जाएगा.