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प्रसव के बहाने डाॅक्टरों पर महिला का गुर्दा निकालने का आरोप, सीएमओ कार्यालय में बयान दर्ज

बीते दिनों हादसे में एक गर्भवती महिला जख्मी हो गई थी. जिसके बाद महिला को गोमती नगर के निजी अस्पताल में भर्ती कराया था. परिजनों ने निजी अस्पताल के डाॅक्टरों पर प्रसव के बाद गुर्दा चोरी करने का गंभीर आरोप लगाया है.

स्वास्थ्य भवन
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Published : Jun 13, 2022, 10:25 PM IST

लखनऊ: प्रसव के बाद महिला ने डॉक्टर पर गुर्दा चोरी करने का गंभीर आरोप लगाया है. पेट में शिशु की मौत के बाद परिवार वालों ने गर्भवती महिला को गोमती नगर के निजी अस्पताल में भर्ती कराया था.परिजनों की शिकायत के बाद सीएमओ ने मामले की जांच शुरू करा दी है. पीड़ित महिला के सोमवार को बयान दर्ज कराए गये हैं. वहीं डॉक्टर को महिला के इलाज संबंधी दस्तावेज के साथ बुलाया है.

गोमती नगर हुसड़िया निवासी शाहबुद्दीन की गर्भवती पत्नी शबनम (25) बीते दिनों हादसे में जख्मी हो गई थी. उसके बाद पेट में गर्भास्थ शिशु की हलचल पर फर्क पड़ा. पेट में दर्द शुरू हो गया. परिजन मरीज को लेकर गोमतीनगर स्थित प्राइड अस्पताल पहुंचे. डॉक्टरों ने जांच पड़ताल की. अल्ट्रासाउंड जांच भी कराई. जिसमें गर्भस्थ शिशु की मृत्यु की पुष्टि हुई. डॉक्टर ने सामान्य प्रसव कराने की बात कही. इसके बाद डॉक्टर ने ऑपरेशन से प्रसव कराने का फैसला किया. डॉक्टर ने पूरे मामले की जानकारी परिजनों को दी. जिसके बाद वे ऑपरेशन को राजी हो गए. पांच मार्च को ऑपरेशन हुआ. 12 मार्च को प्रसूता को डिस्चार्ज कर दिया गया.

पति का आरोप है कुछ दिन बाद पत्नी के पेट में दर्द उठा तो डॉक्टर की सलाह पर अल्ट्रासाउंड कराया. जिसमें दाहिनी तरफ गुर्दा नहीं दिखाई दिया, जबकि इससे पहले हुए अल्ट्रासाउंड में दोनों गुर्दें होने का दावा किया है. पति का आरोप है डाॅक्टर ने पहले 25 हजार रुपये में पूरा इलाज करने को कहा था. लेकिन बाद में करीब सवा लाख रुपये वसूले. पति ने इस मामले की शिकायत सीएम और डीएम कार्यालय में की थी. वहां से मामले की जांच के आदेश दिए गए. सोमवार दोपहर पति पीड़ित पत्नी को लेकर सीएमओ कार्यालय पहुंचा. जिसके बाद पत्नी-पति ने बयान दर्ज कराये.

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गलत इंजेक्शन से मौत के मामले में टीम गठित :गलत इंजेक्शन लगने के बाद युवक की मौत के मामले में स्वास्थ्य विभाग ने कमेटी गठित कर दी थी. एक सप्ताह के भीतर कमेटी को जांच रिपोर्ट देनी है. वहीं स्वास्थ्य विभाग ने झोलाछाप डाॅक्टर की धरपकड़ के लिए टीम गठित की है. दरअसल, माल स्थित सुक्खाखेड़ा निवासी राजाबक्श के भाई अवधेश के पैर की उंगली में मोच आ गई थी. थावर गांव में अमरपाल को घर बुलाकर दिखाया. आरोप है कि अमरपाल ने अपने सहायक जितेंद्र को इलाज के लिये भेज दिया. जितेंद्र ने इंजेक्शन लगाया. उसके बाद अवधेश का शरीर अकड़ने लगा था. दो से तीन मिनट में अवधेश की सांसें थम गई थीं. परिवार ने पुलिस में मुकदमा दर्ज कराया था. डिप्टी सीएमओ डॉ. एपी सिंह ने बताया कि इंजेक्शन लगने के बाद मरीज की मौत के मामले की जांच कराई जा रही है. तीन सदस्यीय जांच कमेटी गठित की गई है. उन्होंने बताया कि इलाके में झोलाछाप डाॅक्टरों के खिलाफ अभियान चलाया जाएगा.

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