बांदा: जिले में पिछले एक हफ्ते से रुक-रुक कर हो रही बारिश ने नगरपालिका के दावों की पोल खोलकर रख दी है. हल्की बारिश होने से ही शहर में जगह-जगह जलभराव और गंदगी फैलने से लोग परेशान हैं. शहर के कई मोहल्ले ऐसे भी हैं जहां पर पानी की निकासी की व्यवस्था ना होने के चलते साल भर लोग परेशान रहते हैं. अब इस मौसम में गंदगी और जलभराव के चलते संक्रामक बीमारियां फैलने का भी खतरा बढ़ गया है, लेकिन नगरपालिका पूरी तरह से उदासीन बना हुआ है.
संक्रामक बीमारियों को दावत दे रही शहर में फैली गंदगी. जानिए क्या है मामला
- जिले में पिछले एक हफ्ते से रुक-रुक कर बारिश हो रही है और शहर के कई मोहल्ले में जलभराव से लोग परेशान हैं.
- शहर में खासकर शांती नगर, सूतरखाना, कांशीराम कॉलोनी समेत तमाम मोहल्ले ऐसे हैं, जहां पर गंदगी और जलभराव से लोगों का जीना मुहाल है.
- गंदगी और जलभराव के चलते इस मौसम में अब संक्रामक बीमारियां भी फैलने का खतरा बढ़ गया है.
- यहां पर नाले- नालियों में सफाई ना होने के चलते सड़कों पर पानी भर गया है और इस गंदगी से ही लोगों को मजबूरन आना-जाना पड़ता है .
वहीं ईटीवी भारत से बात करते हुए स्थानीय लोगों ने बताया कि चुनाव के समय नेता भी यहां आकर बड़ी-बड़ी बातें करते हैं . मगर चुनाव होते ही कोई नेता सुध नहीं लेता और इसी के चलते हम लोग कई साल से गंदगी में रहने को मजबूर हैं. गंदगी के चलते जहां संक्रामक बीमारियां भी उत्पन्न होती हैं . तो वहीं सड़कों पर जलभराव से छोटे बच्चे खेल कूद भी नहीं पाते और रोजमर्रा के कामों में भी समस्याएं खड़ी हो जाती हैं.
प्रयास है कि नाला गैंग से शहर के सभी नाले नालियों की सफाई ज्यादा से ज्यादा कर ली जाए. पिछली बार 300 नाला गैंग लोगों से काम लिया गया था, लेकिन इस बार अथक प्रयास के बावजूद भी नाला गैंग लेबर नहीं मिल पाई है. जिससे यह लगता है कि शहर के नाले नालियां पूरी तरह से साफ नहीं करवाई जा सकेंगे, लेकिन फिर भी प्रयास है कि नाला गैंग लेबर मिल जाए और नाले नालियों की तलहटी से सफाई करवाई जाए. प्रधानमंत्री के स्वच्छ भारत मिशन के तहत ही काम किया जा रहा है और लोगों से भी अपील है कि उनके इस काम में वह भी साथ दें तभी शहर स्वच्छ और सुंदर रह सकेगा .
मोहन साहू, नगरपालिका अध्यक्ष