भाजपा प्रत्याशी सुरेंद्र पाल सिंह टीटी श्रीगंगानगर. राजस्थान में शनिवार को मंत्रिमंडल का गठन हो गया. इस मंत्रिमंडल में करणपुर सीट से भाजपा प्रत्याशी के रूप में चुनाव लड़ रहे, सुरेंद्र पाल सिंह टीटी को राज्यमंत्री बनाया गया है. करणपुर सीट पर 5 जनवरी को मतदान होना है. उससे पहले सुरेंद्र पाल सिंह को राज्यमंत्री बनाए जाने की चर्चा सियासी गलियारों में बनी हुई है. श्रीगंगानगर जिले की करणपुर सीट से भाजपा प्रत्याशी सुरेंद्र पाल सिंह टीटी को राज्यमंत्री बनाने के बाद इलाके में खुशी की लहर दौड़ गई. वहीं, कांग्रेस ने आपत्ति जताते हुए इसे आदर्श आचार संहिता का खुला उल्लंघन बताया है.
पांच जनवरी को होना है चुनाव :बता दें कि करणपुर विधानसभा चुनाव से ठीक पहले कांग्रेस प्रत्याशी और विधायक गुरमीत सिंह कुन्नर का निधन हो गया था, इसके बाद करणपुर विधानसभा सीट पर चुनाव स्थगित कर दिया गया था. सुरेंद्र पाल टीटी भारतीय जनता पार्टी की ओर से प्रत्याशी के रूप में चुनाव मैदान में है. इस सीट पर अब 5 जनवरी को चुनाव होना है, लेकिन आज मंत्री परिषद के गठन के दौरान भाजपा प्रत्याशी सुरेंद्र पाल सिंह टीटी को राज्य मंत्री पद की शपथ दिलवा दी गई. इसके बाद इलाके में खुशी की लहर दौड़ गई और उनके समर्थकों ने पटाखे फोड़कर और मिठाई बांधकर खुशी का इजहार किया.
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भाजपा ने झोंक रखी है पूरी ताकत :करणपुर विधानसभा सीट पर 5 जनवरी को चुनाव होगा और 8 जनवरी को मतगणना होगी. भारतीय जनता पार्टी ने इस सीट को जीतने के लिए पूरी ताकत झोंक रखी है. बता दें कि मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा और उप मुख्यमंत्री दीया कुमारी ने इस विधानसभा सीट पर प्रचार प्रसार किया है. वहीं, केंद्रीय कानून मंत्री अर्जुन राम मेघवाल भी इस विधानसभा सीट पर प्रचार प्रसार कर रहे हैं. भाजपा प्रत्याशी सुरेंद्र पाल सिंह टीटी को मंत्री पद की शपथ दिलवाकर भाजपा ने एक बड़ा दांव खेला है.
सिख समाज का सम्मान किया :सुरेंद्र पाल सिंह टीटी ने कहा कि "पार्टी ने जो जिम्मेदारी मुझे दी है, उसके लिए पार्टी के शीर्ष नेतृत्व और मुख्यमंत्री का बहुत-बहुत आभार व्यक्त करता हूं. पार्टी के कार्यकर्ता पर भरोसा जताया है, जो भी जिम्मेदारी दी जाएगी उसे पूर्ण निष्ठा के साथ पूरा करूंगा. कार्यकर्ता के रूप में सिख समाज को प्रतिनिधित्व करने का मौका दिया है. पार्टी के कार्यकर्ताओं में भी उत्साह है. पार्टी ने जो भी जिम्मेदारी दी है, उसे हमेशा निष्ठा से निभाना ही प्राथमिकता है. टीटी ने कहा कि भारतीय जनता पार्टी ने मेरे माध्यम से सारे सिख समाज का सम्मान किया है. 5 जनवरी को होने वाले श्रीकरणपुर विधानसभा चुनाव में अपनी जीत को लेकर आश्वस्त हैं."
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सोशल मीडिया पर ट्रोल :वहीं, सुरेंद्र पाल सिंह टीटी को मंत्री बनाए जाने पर सोशल मीडिया पर भी अलग-अलग तरह की प्रतिक्रियाएं सामने आ रही हैं. कांग्रेस नेता संयम लोढ़ा और पूर्व नेता प्रतिपक्ष राजेंद्र राठौड़ सोशल मीडिया पर आमने-सामने हुए. संयम लोढ़ा ने सोशल मीडिया पर लिखा कि श्रीकरणपुर विधानसभा क्षेत्र में चुनाव में भाजपा प्रत्याशी सुरेंद्र पाल टीटी को मंत्री पद की शपथ दिलाना आदर्श आचार संहिता का खुला उल्लंघन है. राज्य के मुख्य निर्वाचन अधिकारी प्रवीण गुप्ता से फोन पर बात का तत्काल कार्रवाई की मांग की है.
ऐसा रहा सफर :सुरेंद्र पाल सिंह टीटी ने 1993 में भाजपा की टिकट पर पहला चुनाव लड़ा था, लेकिन चुनाव हारने के बाद भी सुरेंद्र पाल सिंह टीटी को कृषि एवं विपणन बोर्ड का अध्यक्ष बनाकर राज्य मंत्री का दर्जा दिया गया. इसके बाद 1998 में भी भाजपा की टिकट पर चुनाव लड़े और हार गए थे. तीसरी बार 2003 में फिर भाजपा ने टीटी को प्रत्याशी बनाया और इस बार टीटी जीत गए और उन्हें कृषि एवं विपणन राज्य मंत्री बनाया गया. इसके बाद सुरेंद्र पाल सिंह टीटी 2008 का चुनाव भाजपा की टिकट पर हार गए, फिर भाजपा ने 2013 में सुरेंद्र पाल सिंह टीटी को अपना प्रत्याशी बनाया. 2013 का चुनाव सुरेंद्र पाल सिंह टीटी जीत गए और सरकार में उन्हें श्रम नियोजन राज्य मंत्री बनाया गया. भाजपा ने 2018 में फिर सुरेंद्र पाल सिंह टीटी पर दांव खेला, लेकिन 2018 का चुनाव सुरेंद्र पाल सिंह टीटी हार गए अब 2023 के चुनाव में भी श्रीकरणपुर विधानसभा सीट से भाजपा ने सुरेंद्र पाल सिंह टीटी को ही प्रत्याशी बनाया है. यहां 5 जनवरी को चुनाव होना है.