श्रीगंगानगर.गंगानगर शहर में शुक्रवार सुबह हुई भारी बारिश के बाद पुरा शहर जलगमन (water logging in Sriganganagar) हो गया है. शहर के निचले इलाकों में पानी की निकासी नहीं होने से लोगों के घरों के अंदर पानी पहुंच चुका है. इसके साथ ही बारिश ने नगर परिषद प्रशासन की पोल खोलकर रख दी है. रुक-रुककर लगातार 3 दिन से हो रही बारिश के बाद हालात बदतर हो चुके हैं. शुक्रवार सुबह 6 बजे से लगातार 5 घंटे तक बारिश होने से शहर के सभी इलाकों में पानी भर गया है. ऐसे में अब राहत कार्य के लिए सेना ने मोर्चा संभाल लिया है और अधिक प्रभावित क्षेत्रों से पानी (Army in Sri Ganganagar) निकालने का कार्य शुरू कर दिया है. आज जिले में 224 मिमी की रिकॉर्ड बारिश दर्ज की गई है. इससे पूर्व एक दिन में सर्वाधिक बारिश 107.7 mm 18 जुलाई 1978 को दर्ज हुई थी. इसके साथ ही मौसम विभाग के अनुसार अगले 48 घंटे भारी बारिश के आसार जताए गए हैं.
बारिश का कहर इस कदर है कि शहर के पॉश एरिया में भी चार से पांच फीट तक पानी भरा हुआ है. नगर परिषद की ड्रेनेज व्यवस्था सही नहीं होने एवं नालों की सफाई नहीं करवाने से गंदे पानी की निकासी नहीं हो रही है. शहर के पुरानी आबादी वाले क्षेत्र में पानी भरने से लोगों के मकान गिरने की जानकारी मिली है. पुरानी आबादी एरिया में घरों में पानी जाने से लोगों को भारी नुकसान होने की संभावना है.
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पुरानी आबादी वाला क्षेत्र अधिक प्रभावित
नगर परिषद की टीम जलभराव वाले स्थानों से पानी निकालने की कवायद में लगी हुई है लेकिन संसाधनों की कमी से परिषद टीम को काफी परेशानी हो रही है. हालांकि परिषद टीम ने ब्लॉक एरिया क्षेत्र का पानी आसपास के पार्कों एवं रामलीला मेदान में डालकर लोगों के घरों में घुसे पानी को कम करने का प्रयास किया.
पानी निकालने के लिए आखिर सेना ने संभाला मोर्चा
पुरानी आबादी क्षेत्र एवं ब्लॉक एरिया में पानी अधिक भरने से जिला कलेक्टर रुकमणि रियार सिहाग ने आखिराकर राहत कार्य के लिए सेना से मदद मांगी. जिला कलेक्टर ने साधुवाली और लालगढ़ जाटान सेन्य अधिकारियो से बात की. इसके बाद सेना की कई टुकड़ियो ने पुरानी आबादी, ब्लॉक एरिया और गुरुनानक बस्ती से पंपों और मशीनों को लगाकर युद्ध स्तर पर पानी निकालने का काम शुरु किया. सेना के जवान पहले शहर के उन एरिया में राहत कार्य में जुटे हैं जहां जलभराव के कारण लोगों के घरों में पानी भरा हुआ है. सेना की ओर से मोर्चा संभालने के बाद अगर बारिश फिर से नहीं हुई तो शाम तक काफी हद तक स्थिति सामान्य हो जाएगी. वहीं बारिश से प्रभावित परिवारों को आसपास के स्कूलों में ठहराया जा रहा है.
जिला कलेक्टर रुकमणि रियार सिहाग ने बारिश से प्रभावित परिवारों के खाने-पीने की व्यवस्था के लिए अधिकारियों की टीम बनाकर प्रभावितों को राहत देने के निर्देश दिए हैं. बारिस का पानी भरने से लोगों में नगर परिषद के प्रति आक्रोश देखने को मिला है. पुरानी आबादी क्षेत्र से पार्षद अमित चलाना ने परिषद के अधिकारियों पर लापरवाही का आरोप लगाते हुए कहा है कि समय रहते नालों की सफाई करवाई गई होती तो शहर इस कदर जलभराव और परेशानी नहीं होती. वहीं बारिके कारण कोडा चोक के पास एक दुकान भी धराशाई हो गई है.