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अरावली की पहाड़ियों में विराजमान श्रृंगारित जीण माता का मेला 22 मार्च से

सीकर के ऐतिहासिक जीण माता मंदिर में नवरात्र मेला 22 मार्च से शुरू होने जा रहा है. मेले के दौरान पशु बलि, शराब व डीजे पर रहेगी पूर्ण पाबंदी. मेले के दौरान बिजली, पानी, आवारा पशु, बेरीकेडिंग तथा पार्किंग की व्यवस्था ग्राम पंचायत की रहेगी.

जीणमाता मंदिर
जीणमाता मंदिर

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Published : Mar 15, 2023, 11:40 AM IST

सीकर. प्रदेश के सीकर जिले में अरावली की पहाड़ियों में विराजमान श्रृंगारित जीण माता के मेले का आयोजन नवरात्र के दौरान किया जाएगा. शारदीय नवरात्र में जीण माता का मेला 22 मार्च से शुरू होगा और अगले 9 दिन तक चलेगा. इस बार मेले में प्रशासन ट्रस्ट व ग्राम पंचायत की तरफ से नवाचार किया जा रहा है. प्रधानों की बढ़ती संख्या को देखते हुए इस बार जीण माता मेले में भक्तों के लिए 6 लाइनें बनाई जाएंगी.

गत वर्ष खाटूश्यामजी में मची भगदड़ से सबक लेते हुए प्रशासन ने इस बार एक अतिरिक्त लाइन शुरू करने का फैसला किया है. इस बार मेले के दौरान ड्रोन कैमरे से निगरानी होगी, साथ ही मेले की वीडियो रिकॉर्डिंग कराई जाएगी. मेले में निगरानी हेतु मंदिर परिसर व मेला ग्राउंड में सीसीटीवी कैमरे लगाए गए हैं. इसके अतिरिक्त मेले के दौरान दुकानदारों को अवैध अतिक्रमण नहीं करने की हिदायत दी गई है. प्रशासन ने चेतावनी दी है कि अतिक्रमण करने वाले दुकानदारों के आवंटित दुकान को निरस्त कर दिया जाएगा.

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800 पुलिसकर्मी संभालेंगे सुरक्षा का जिम्मा :शारदीय नवरात्र में शुरू हो रहे जीण माता के मेले की सुरक्षा हेतु प्रशासन ने 800 जवानों का आवंटन किया है. इसमें से 50 पुलिसकर्मी सादा वर्दी में मेला परिसर तथा मंदिर परिसर में तैनात रहेंगे. इस साल 30 महिला पुलिसकर्मियों की तैनाती भी मंदिर परिसर में की जाएगी. मेले के दौरान चेन स्नेचिंग व जेब कतरों पर विशेष नजर रखी जाएगी.

मेले में इन पर रहेगी पाबंदी :जीण माता मेले के दौरान प्रशासन ने हिदायत दी है कि शराब व पशु बलि पर सख्ती से रोक रहेगी. इसके साथ ही डीजे पर भी पाबंदी रहेगी. रेवासा-जीण माता-बाजोर मार्ग पर डीजे बजाते पकड़े जाने पर प्रशासन को जब्ती के आदेश दिए गए हैं. पशु बलि पर पुलिस पूरी तरह से निगरानी रखेगी. इसके अतिरिक्त 10 फीट से ऊंचा निशान लेकर श्रद्धालु मंदिर के अंदर प्रवेश नहीं कर सकेंगे.

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