प्रतापगढ़. जिले के बारावरदा चिकित्सा विभाग की उदासीनता का एक मामला सामने आया है. जहां बुधवार दोपहर 2 बजे खुदकुशी में मृत महिला के शव का शाम 5 बजे तक पोस्टमार्टम नहीं हो पाया. परिजन पूरे दिन शव को लेकर इधर-उधर भटकते नजर आए. ऐसे में आक्रोशित ग्रामीणों ने चिकित्सा अधिकारी के खिलाफ कार्रवाई करने की मांग की है.
जानकारी के अनुसार बारावरदा चिकित्सालय में पोस्टमार्टम के पर्याप्त साधन और संसाधन के अभाव में चिकित्सकों ने शव का पोस्टमार्टम करने से इनकार कर दिया और परिजनों को प्रतापगढ़ जिला चिकित्सालय के लिए भेज दिया. परिजन जब शव को लेकर जिला चिकित्सालय पहुंचे, तो यहां भी चिकित्सकों की लापरवाही के चलते परिजन शव को लेकर इधर-उधर भटकते रहे. आखिरकार शव का जब पोस्टमार्टम नहीं हो पाया, तो शव को पोस्टमार्टम के लिए मोर्चरी में रखवा दिया गया है.
शव के पोस्टमार्टम के लिए भटकते रहे परिजन यह है मामला
बारावरदा गांव के कंवरलाल मेघवाल की पत्नी हुलासी बाई जो मानसिक रोगी थी. उसने बुधवार दोपहर अपने घर में रस्सी का फंदा लगाकर फांसी लगा ली. परिजनों को जब इसकी जानकारी मिली, तब उन्होंने पुलिस को इसकी जानकारी दी. पुलिस की मौजूदगी में शव को फंदे से उतारकर बारावरदा चिकित्सालय लाया गया. जहां सीएचसी इंचार्ज चिकित्सक मयूर खंडेलवाल ने हुलासी बाई को मृत घोषित कर दिया.
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इस दौरान धमोतर पुलिस थाना अधिकारी भी चिकित्सालय पहुंच गए. उन्होंने चिकित्सक से मृतका के शव के पोस्टमार्टम के लिए कहा तो चिकित्सक खंडेलवाल ने कहा कि यहां सीएचसी में पोस्टमार्टम के लिए पर्याप्त संसाधन है. ऐसे में शव को पोस्टमार्टम के लिए प्रतापगढ़ जिला चिकित्सालय भेज दिया गया. इस दौरान गांव के कई लोग भी मौजूद थे.