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कोटा: बैंकों के निजीकरण के विरोध में दूसरे दिन भी हड़ताल जारी, एक हजार करोड़ रुपए का कारोबार हुआ प्रभावित

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Published : Mar 16, 2021, 4:14 PM IST

कोटा में केंद्र सरकार पर सरकारी बैंकों के निजीकरण को लेकर बीते दिन से बैंककर्मी हड़ताल पर हैं. इसके तहत मंगलवार को दूसरे दिन भी कोटड़ी चौराहे पर कर्मियों ने विरोध प्रदर्शन करते हुए केंद्र सरकार के खिलाफ आक्रोश रैली निकाली. इसके बाद प्रधानमंत्री और केंद्रीय वित्त मंत्री के खिलाफ रोष जताया.

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बैंकों के निजीकरण के विरोध में दूसरे दिन भी हड़ताल जारी

कोटा.जिले में केंद्र सरकार पर सरकारी बैंकों को निजीकरण के हाथों में देने का आरोप लगाते हुए मंगलवार को बैंक कर्मियों ने विरोध प्रदर्शन किया. इसके बाद केंद्र सरकार के खिलाफ आक्रोश रैली निकाली. बता दें कि बैंक कर्मी 15 मार्च से हड़ताल पर हैं.

बैंकों के निजीकरण के विरोध में दूसरे दिन भी हड़ताल जारी

वहीं, दो दिवसीय हड़ताल का आज दूसरा दिन रहा. कोटडी चौराहे पर स्थित बैंक ऑफ बड़ौदा शाखा के बाहर बैंक कर्मियों ने केंद्र सरकार के खिलाफ हल्ला बोल प्रदर्शन किया. साथ ही यहां से आक्रोश रैली निकालते हुए छावनी चौराहे से होते हुए वापस बैंक शाखा बैंक कर्मियों की आक्रोश रैली पहुंची.

इसके अलावा हड़ताल कर रहे बैंक कर्मियों ने कहा कि अगर केंद्र सरकार बैंकों के निजीकरण के फैसले को वापस नहीं लेते हैं तो बैंक कर्मी आगामी दिनों में अनिश्चितकालीन हड़ताल करेंगे.

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बैंक कर्मचारी नेताओं का कहना है कि बैंक कर्मियों की दो दिवसीय हड़ताल से करीब 1000 करोड़ रुपए का कारोबार प्रभावित हुआ है. उनका कहना है कि बैंकों का निजीकरण होने से बैंक उपभोक्ताओं की मुश्किलें बढ़ेगी और पूंजी पतियों का दबदबा बैंकों पर भी होगा.

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निजीकरण (Privatization) के विरोध में यूनाइटेड फोरम ऑफ बैंक यूनियन की ओर से सरकारी बैंकों में हड़ताल का आज यानी मंगलवार को दूसरा दिन है. बैंक बंद (Today Bank Strike) रहने के कारण पैसा निकालने और जमा करने, चेक क्लीयरेंस और ऋण मंजूरी जैसी सेवाओं पर असर पड़ा है.

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