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डोटासरा का ओम बिरला पर हमला, कहा- स्पीकर से बड़ा पद नहीं, बता दें कितना काम करवाया - Rajasthan Hindi news

कोटा जिले के दौरे पर आए प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा ने लोकसभा स्पीकर ओम बिरला समेत भाजपा नेताओं पर जमकर (Dotasara targeted Om Birla) हमला बोला. उन्होंने भाजपा पर कई मुद्दों को लेकर निशाना साधा.

Dotasara targeted Lok Sabha Speaker Om Birla
Dotasara targeted Om Birla

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Published : Feb 7, 2023, 7:15 PM IST

Updated : Feb 7, 2023, 8:57 PM IST

डोटासरा का ओम बिरला पर हमला

कोटा. जिले के दौरे पर आए कांग्रेस पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा ने भाजपा नेताओं को जमकर आड़े हाथों लिया. उन्होंने कांग्रेस का बचाव करते हुए कहा कि प्रदेश में सरकार के खिलाफ कोई एंटी इनकंबेंसी नहीं है. यह एंटी इनकंबेंसी राजस्थान से चुने गए भाजपा के 25 सांसदों के खिलाफ है. डोटासरा ने लोकसभा स्पीकर ओम बिरला पर भी हमला बोला. उन्होंने कहा कि इससे बड़ी कोई पोस्ट नहीं होती है. लोकसभा अध्यक्ष बिरला बताएं कि कितना काम उन्होंने करवाया है.

उन्होंने तंज कसते हुए कहा कि बीजेपी में 8 से 9 लोग मुख्यमंत्री के दावेदार हैं. सभी ने नया सूट सिलाकर तैयार कर रखा है. रोज शाम को मुख्यमंत्री बनकर शादियों में जा रहे हैं. एक दूसरे की बुराइयां करते हुए कान खींचते हैं. उन्होंने कहा कि ईआरसीपी को राष्ट्रीय परियोजना बनाने का वादा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने किया था, देश के जल शक्ति मंत्री राजस्थान से हैं, लेकिन वह 13 जिलों के फायदे वाली योजना को राष्ट्रीय परियोजना नहीं बनवा पा रहे हैं. उन्होंने हाल ही में लोकसभा में जवाब दिया है कि इसकी डीपीआर को संशोधित करें. जबकि यह परियोजना ही उन्हीं की पार्टी की नेता और पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे सिंधिया ने बनाई थी. उसी को चेंज करवाने की मांग यह कर रहे हैं. इसका मतलब इनके नीयत खोटी है. यह कोई काम नहीं करवाना चाहते.

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प्रदेश की कानून व्यवस्था को दुरुस्त करने की जरूरतःप्रदेश की कानून व्यवस्था पर डोटासरा ने कहा कि घटना दुर्घटना किसी भी शासन में होती है, लेकिन हमें कानून व्यवस्था को चुस्त-दुरुस्त करने की आवश्यकता है. किसी भी तरह की आपराधिक घटनाएं नहीं होनी चाहिए. अगर घटनाएं हो तो तत्कालिक कार्रवाई हो और जल्द से जल्द पीड़ित को न्याय मिले. प्रदेश के ही गृह राज्य मंत्री राजेंद्र यादव ने एसओजी को कमजोर बताया है. इस सवाल के जवाब पर उन्होंने कहा कि मैं भी यही बात कर रहा हूं कि कानून व्यवस्था को चुस्त-दुरुस्त करने की आवश्यकता है.

किरोड़ी लाल मीणा की मौसी है ईडीः डोटासरा ने कहा कि किरोड़ी लाल मीणा बार-बार कहते हैं कि दिल्ली जाकर आए हैं और ईडी को लेकर आ रहे हैं, तो क्या ईडी उनकी मौसी लगती है. हमारी चिरंजीवी योजना, इंग्लिश मीडियम स्कूल से लेकर बजट को क्रियान्वयन करने के तरीके के मामले में पूरे देश में तारीफ हो रही है. जबकि भारतीय जनता पार्टी के नेता दूध के धुले नहीं हैं. भाजपा डर का माहौल बनाकर राजनीति कर रही है.

भाजपा चुनाव को धर्म के मोड़ पर ले जाएगीः सतीश पूनिया की ओर से पीएफआई को संरक्षण देने के आरोप पर कहा कि भारतीय जनता पार्टी तो हिंदू-मुस्लिम, हिंदुस्तान-पाकिस्तान, कब्रिस्तान-श्मशान व गौमाता के मुद्दे लाकर वोट लेती है. उन्होंने कोई काम नहीं किया. अभी आगामी चुनाव को भी वह धर्म के एजेंडे पर ही लेकर चले जाएंगे. भरत सिंह के मसले पर डोटासरा ने कहा कि चिंता करने की जरूरत नहीं है. हमने उनसे पूरी तरह से बात की है और संतुष्ट कर दिया है. उन्हें 101 फ़ीसदी संतुष्ट रखना हमारी जिम्मेदारी है. इस मुद्दे को बाकायदा ऊपर भी लेकर जाएंगे और जो भी न्याय संगत होगा, वह निर्णय किया जाएगा.

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राहुल गांधी के यूपी सीएम को अधर्मी कहने पर, यह दिया जवाबः यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ को राहुल गांधी ने अधर्मी कहा इस सवाल के जवाब पर डोटासरा ने कहा कि साधु संन्यासियों का राजनीति में क्या काम. उन्हें हर वर्ग की बात सुननी चाहिए, लेकिन फर्क यह है कि मुख्यमंत्री योगी केवल बीजेपी को ही भगवान मानते हैं. जब वे राजस्थान आए थे, तब कह गए कि बजरंगबली चाहिए अल्लाह नहीं चाहिए. जबकि कांग्रेस को सबको साथ लेकर चलती है, 36 कौम की पार्टी है. उन्हें बजरंगबली-अल्लाह दोनों ही साथ चाहिए. योगी आदित्यनाथ को संविधान के मुताबिक काम करना चाहिए, जबकि उन्होंने नहीं किया. उन्होंने आरोप लगाया कि बीते समय केंद्र के गृह राज्य मंत्री के बेटे ने किसान को कुचल दिया था. लेकिन सुप्रीम कोर्ट की फटकार के बाद कार्रवाई हुई. तब तक मंत्री के बेटे को गिरफ्तार नहीं किया गया था, जबकि उन्हें कानून के हिसाब से काम करना चाहिए था.

डोटासरा ने माना पेपर लीक से सरकार की छवि खराब हुईःडोटासरा ने कहा कि इस तरह की घटनाओं का प्लस-माइनस भी होता है. हम पेपर लीक पर कानून बना रहे हैं, लेकिन कई राज्य सरकारें सोई पड़ी हैं. पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे सिंधिया ने पेपर लीक के मसले पर किसी तरह का काम नहीं किया था. इसी तरह से भाजपा शासित गुजरात और मध्यप्रदेश में क्या स्थिति है? व्यापम घोटाले में कई लोगों की जान चली गई. हरियाणा में 8- 9 साल से कोई भर्ती नहीं हुई है.

Last Updated : Feb 7, 2023, 8:57 PM IST

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