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कोटा की सड़कों पर 10 महीने बाद फिर से दौड़ेगी सिटी बसें, नगर निगम ने नए संवेदक को दी जिम्मेदारी - First buses on five routes in Kota

कोटा में केबीसीएल सिटी बसों को चलने लिए नए संवेदक फार्म को जिम्मेदारी सौंप दी गई है. शुरुआती क्रम में 5 रूटों पर बसों का संचालन होगा. जिनमें 5 से 10 बसों का संचालन किया जाएगा. जिन्हें बाद में बढ़ाकर 30 बसों तक पहुंचा दिया जाएगा. इसके लिए नए संवेदक फर्म ने बसों को हैंड ओवर और टेक ओवर लेना भी शुरू कर दिया है.

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कोटा की सड़कों पर 10 महीने बाद फिर से दौड़ेगी सिटी बसें

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Published : Jan 21, 2021, 3:46 PM IST

कोटा.कोविड-19 से बचाव के लिए लगाए गए लॉक डाउन के बाद से कोटा में बस सर्विस लिमिटेड की नगरीय परिवहन बसों की सेवा बंद थी. पहले लॉकडाउन टेंडर खत्म हो जाने के चलते नगर निगम और जिला प्रशासन ने इसे शुरू नहीं कर पाया था, लेकिन एक बार फिर अब टेंडर करवाकर शुरू करवाया जा रहा है. इसके लिए नए संवेदक फार्म को जिम्मेदारी भी सौंप दी गई है.

कोटा की सड़कों पर 10 महीने बाद फिर से दौड़ेगी सिटी बसें

शुरुआती क्रम में 5 रूटों पर बसों का संचालन होगा. जिनमें 5 से 10 बसों का संचालन किया जाएगा. जिसके बाद धीरे-धीरे इन्हें बढ़ाकर 30 बसों तक पहुंचा दिया जाएगा. इसके लिए नए संवेदक फर्म ने बसों को हैंड ओवर टेक ओवर लेना भी शुरू कर दिया है. जिसे वह सभी बसों की जांच करा रही है. बता दें कि केबीसीएल के पास 34 बसें थी, हालांकि इस बार टेंडर में संवेदक को 33 ही बसें उपलब्ध कराई जा रही है. जिनमें से करीब 25 बसों का संचालन सड़क पर किया जाएगा. बाकी बसों को ब्रेकडाउन की स्थिति के लिए रिजर्व रखा जाएगा.

लॉकडाउन के पहले 10 रूटों पर बसों का संचालन किया जा रहा था, लेकिन अब केवल 9 ही रूटों पर बसें चलाई जाएगी. वर्तमान में कुछ बस 80 फिट रोड स्थित यूआईटी की जगह और बाकी कुन्हाड़ी के पुराने बस स्टॉप के जगह पर खड़ी है. अब सभी जिम्मेदारी एक ही फर्म को पहले टेंडर के अनुसार बसों का संचालन आर्य ट्रांस सॉल्यूशन प्राइवेट लिमिटेड करती थी और यह ड्राइवरों से बसें चलवाती थी. इसे ही प्रति किमी भुगतान मिलता था. जबकि पैसा कलेक्शन का काम और कंडक्टर की ड्यूटी लगाने का काम अर्पित कंस्ट्रक्शन के पास था.

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ऐसे में पहले ऑपरेशन और मेंटेनेंस का काम देख रही फर्म को नगर निगम से भुगतान मिलने में देरी होने पर ड्राइवर हड़ताल कर देते थे. साथ ही कई बार मेंटेनेंस और डीजल के अभाव में भी बसें रुक जाती थी. जबकि अब एक ही फर्म ज्योस्तुते इंडिया प्राइवेट लिमिटेड को पूरी जिम्मेदारी दी गई है. यह ऑपरेशन, मेंटेनेंस और कलेक्शन का काम भी देखेगी. पहले जहां बसों का मेंटेनेंस और ऑपरेशन का कांटेक्ट 49 रुपए प्रति किलो मीटर में था.

यह इस बार के टेंडर में 42 रुपए किलो मीटर में हुआ है. इसमें राशि कलेक्शन का काम भी जुड़ गया है. वहीं, 10 रूट पर 24 बसें चलती थी. इसके अलावा 120 फेरे लॉकडाउन के पहले कोटा शहर में नगरीय परिवहन की सिटी बसें काफी प्रचलित हो गई थी. शहर के 10 रूटों पर 24 बसों का संचालन किया जाता था और हर रूट पर एक बस 5 फेरे करती थी. इसके अनुसार 120 फेरे यह बसें लगाती थी. साथ ही करीब 20 हजार से ज्यादा लोग रोज इन बसों में सफर करते थे. इससे लाखों रुपए का राजस्व भी नगर निगम को मिल रहा था.

इन पांच रूटों पर पहले चलेगी बसें..

बता दें कि यह बसें, स्टेशन से खड़े गणेश जी, एरोड्रम सर्किल से भदाना-नए बस स्टैंड से दौलतगंज वाया नयागांव, न्यू क्लॉथ मार्केट पर रानपुर, एरोड्रम सर्किल से चंद्रसेल पर चलेंगी.

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