झुंझुनू.देश के हर कोने में आज के समय में पानी की समस्या उत्पन्न हो चुकी है. जिसे लेकर सरकार भी कई प्रयास करती है, उसके बाद भी पानी की समस्या से लोगों को निजात नहीं मिल पाता है. वहीं पानी गर्मियों में राजस्थान में होने वाली पानी की किल्लत किसी से छिपी नहीं है. ऐसे में जल संग्रहण और पुराने जल स्रोत को लेकर ईटीवी भारत ने साल 2019 में 'बिन पानी सब सून' के तहत एक अभियान चलाया था. इस मुहिम के तहत बंका सेठ की जोहड़ी जो कई सालों से सूखी पड़ी थी, उसके अस्तित्व को बचाने का बीड़ा ईटीवी भारत ने उठाया था.
'बिन पानी सब सून' अभियान के तहत ईटीवी भारत अपनी मुहिम की कड़ी में 18 जुलाई 2019 को झुंझुनू के मलसीसर कस्बा पहुंचा, तो पता चला कि यहां पर एक बंका सेठ की जोहड़ी थी, जो पिछले 30 सालों से अपने अस्तित्व को खोती जा रही है. कभी गांव के लोगों की प्यास बुझाने वाली ये जोहड़ी आज खुद प्यासी थी.
बुजुर्गों ने बताया कि ये जोहड़ी 100 बीघे में फैली हुई थी. इसमें बरसात का पानी भर जाता था. जिसके बाद इस पानी का इस्तेमाल सिंचाई, पशु और अन्य कामों में लिया जाता था. साथ ही इस जोहड़ी के भरने से आस-पास भूजल स्तर भी काफी अच्छे स्तर पर रहता था.
ईटीवी भारत ने जोहड़ी को पुनर्जीवित करने का उठाया बीड़ा
ऐसे में ईटीवी भारत ने जोहड़ी को वापस पुनर्जीवित करने का बीड़ा उठाया और गांव के लोगों को जोड़ने की शुरुआत की. ईटीवी भारत की मुहिम के साथ गांव के सभी ग्रामीण भी जुड़े. साथ ही ये बात प्रशासन को भी पता चली. जिसके बाद झुंझुनू के कलेक्टर रवि जैन ने भी मुहिम के साथ जुड़ने का फैसला किया. वो खुद फावड़ा और साथ में प्रशासनिक लाव लश्कर लेकर 1 अगस्त 2019 को बंका सेठ की जोहड़ी पर पहुंचे और ग्रामीणों की सहयोग से जोहड़ी की खुदाई शुरू कर दी. ईटीवी भारत की अपील से बंका सेठ की जोहड़ी में खुदाई का काम पूरा हो गया. इस काम को लेकर तत्कालीन जिला कलेक्टर अभी आयुक्त परिवहन रवि जैन ने ईटीवी भारत की मुहिम की तारीफ भी की थी.