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पिलानी के दो विद्यार्थियों ने मॉडल के जरिए स्वास्थ्य की चुनौतियों का सुझाया समाधान, सभी ने सराहा

राजस्थान में हर साल औसतन 137 व्यक्तियों की मौत फेफड़ों की बीमारी से हो जाती है. इसी के तहत झुंझुनू के दो विद्यार्थियों ने एक ऐसी मशीन बनाई है, जो फेफड़े से संबंधित बीमारी की स्टेज बताती है. जिसके आधार पर आगे का उपचार आसान हो सकता है. पिलानी के दो विद्यार्थियों ने मॉडल के जरिये स्वास्थ्य की चुनौतियों का सुझाया समाधान

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Published : Oct 22, 2019, 2:04 PM IST

पिलानी (झुंझुनू).कस्बे में स्थित पिलानी बिड़ला शिशु विहार के दो विद्यार्थियों ने रायपुर में हुई राष्ट्रीय बाल विज्ञान प्रदर्शनी में भाग लिया. पिलानी के इन दोनों विद्यार्थियों ने एक मॉडल के जरिए स्वास्थ्य की चुनौतियों का समाधान सुझाया है. वहीं इस प्रदर्शनी में दोनों विद्यार्थियों के मॉडल को खूब सराहा गया.

पिलानी के दो विद्यार्थियों ने मॉडल के जरिए स्वास्थ्य की चुनौतियों का सुझाया समाधान

बता दें कि, अक्टूबर माह में 15 से 20 अक्टूबर ‌तक रायपुर उत्तराखंड में राष्ट्रीय बाल विज्ञान प्रदर्शनी का आयोजन किया गया. इसमें राजस्थान से पिलानी बिड़ला शिशु विहार के विद्यार्थी गर्वित और उनके साथी ने भाग लिया. इन दोनों विद्यार्थियों ने प्रदर्शनी के दौरान प्राणयंत्र का मॉडल पेश किया.

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ऐसे करता है ये काम

गर्वित और उसके साथी गौरव ने बताया कि मॉडल के माध्यम से बताया गया है कि राजस्थान में हर साल औसतन 137 व्यक्तियों की मौत फेफड़ों की बीमारी से हो जाती है. वहीं अस्पतालों में स्वास्थ्य जांच की कीमत भी अधिक होती है. इसी समस्या के समाधान के लिए दोनों विद्यार्थीयों ने 18 हजार रुपए की लागत की एक मशीन तैयार की. जो फेफड़े से संबंधित बीमारी की स्टेज बताती है. छात्रों ने बताया कि यह डिवाइस उतनी ही सटीक है, जितनी बाजारों में बिक रही मशीनों की है. साथ ही यह काफी सस्ती भी है.

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जिसके आधार पर आगे का उपचार आसान हो सकता है. इस मशीन का काम करने का तरीका यह है कि इस मशीन में दो ग्राफ है. जैसे ही कोई व्यक्ति इस मशीन में फूंक मारता है तो इस मशीन का पहला ग्राफ गुणात्मक जांच करता है और बीमारी के नाम की पहचान करता है. वहीं दूसरा ग्राफ मात्रात्मक है. जो बीमारी की मात्रा बताता है.

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