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SPECIAL : झुंझुनू में चलती है 'कलेक्टर की क्लास', जहां पढ़कर अधिकारी बनते हैं युवा - कलेक्टर की क्लास

झुंझुनू में 2017 से तत्कालीन कलेक्टर प्रदीप बोरड ने एक 'कलेक्टर की क्लास' की शुरुआत की थी. जो निरंतर जारी है. इस क्लास में पढ़कर जिले के युवा बड़े अधिकारी बनते हैं. जिले के कई प्रशासनिक अधिकारी यहां युवाओं को पढ़ाने आते हैं. कलेक्टर की क्लास शुरू होने के बाद से 500 से अधिक अभ्यर्थियों को तैयारी करवाई गई है और इनमें से 97 का फाइनल सिलेक्शन हो चुका है.

झुंझुनू की कलेक्टर की क्लास, Jhunjhunu collector class
तत्कालीन कलेक्टर प्रदीप बोरड ने इस क्लास की शुरुआत की थी

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Published : Sep 12, 2020, 3:21 PM IST

झुंझुनू. एक आईएएस अधिकारी की ओर से किया गया ईनोवशन कितनों की जिंदगी बदल देगा, तब ना तो इसे झुंझुनू के लोगों ने सोचा था और ना ही झुंझुनू के युवाओं को इतनी उम्मीद थी कि कारवां इस तरह से जुड़ता जाएगा. जिले में साल 2017 में तत्कालीन जिला कलेक्टर प्रदीप बोरड की ओर से शुरू की गई कलेक्टर की क्लास निरंतर चल रही है, क्योंकि उसके वैसे ही उत्साहजनक परिणाम मिल रहे हैं.

झुंझुनू में 2017 से संचालित है कलेक्टर का क्लास

इसका ताजा उदाहरण हाल ही में जारी राजस्थान पुलिस के सब इंसपेक्टर का परीक्षा परिणाम है. जिसमें कलेक्टर की क्लास के 8 छात्र चयनित हुए हैं. यह इसलिए हुआ है कि बेहतरीन परिणाम मिलने की वजह से आईएएस प्रदीप बोरड की जगह अन्य जो भी कलेक्टर आए, वे भी लगातार उनसे जुड़ते रहे. हालांकि वर्तमान जिला कलेक्टर यूडी खान के आने के बाद तो कोरोना काल शुरू हो गया, लेकिन जब कोचिंग कक्षाएं वापस शुरू होंगी तो कलेक्टर की क्लास भी वापस संचालित होगी.

कलेक्टर की क्लास में पढ़ते विद्यार्थी

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इस तरह होता है चयन

जिले के कई प्रशासनिक अधिकारी क्लास लेने पहुंचते हैं. इसके साथ ही महाविद्यालयों के प्रोफेसर भी अपनी सेवाएं निशुल्क देते हैं. इस कक्षा में पढ़ने के लिए भी परीक्षा देनी पड़ती है और उसी के आधार पर चयन होता है. एक बार चयन होने के बाद आपको मैटेरियल, कोचिंग और अन्य गाइडेंस की कोई चिंता नहीं होती, क्योंकि यह सब बाद में जिला प्रशासन और कलेक्टर की क्लास से जुडे़ लोगों की जिम्मेदारी होती है.

500 से अधिक विद्यार्थियों को तैयारी करवाई जाती है

अब तक 97 का फाइनल सिलेक्शन

कलेक्टर की क्लास शुरू होने के बाद से 500 से अधिक अभ्यर्थियों को तैयारी करवाई गई है और इनमें से 97 का फाइनल सिलेक्शन हो चुका है. जबकि परीक्षा पास करने और साक्षात्कार तक तो कई विद्यार्थी पहुंचे हैं. राजस्थान प्रशासनिक सेवा के प्राइमरी परीक्षा के भी यहां से 70 अभ्यर्थी चयनित हो चुके हैं. आरएएस मेंस में भी एक अभ्यर्थी का चयन हुआ है.

कोरोना की वजह से सूना पड़ा क्लास

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मुंडो की ढाणी की दो बहनों सहित कलेक्टर क्लास में पढ़ने वाले 8 अभ्यर्थियों का राजस्थान पुलिस में सब इंस्पेक्टर के पद पर चयन हुआ है. इन सभी अभ्यर्थियों ने अपनी प्रतियोगी परीक्षा की तैयारी कलेक्टर क्लास से ही की थी. परीक्षा पास होने के बाद इसी क्लास से ही साक्षात्कार की तैयारी भी की थी. कलेक्टर की क्लास में ही पढ़ने वाले पूरा की ढाणी निवासी अजय महला ने ऑल राजस्थान में पांचवी रैंक प्राप्त की है.

विद्यार्थियों को पढ़ाते कलेक्टर

इन इन पोस्ट में हुआ चयन

एलडीसी की परीक्षा में 6 और पुलिस एसआई की परीक्षा में 8 अभ्यर्थियों का चयन हुआ है. इनके अलावा थर्ड ग्रेड टीचर में 5, फर्स्ट ग्रेड टीचर में 2 और सेकंड ग्रेड टीचर में एक का चयन हुआ है. इसके अलावा हाल ही में कलेक्टर के क्लास में तैयारी करने वाले सुशील कस्वा का राजनीति विज्ञान विषय के व्याख्याता पद के लिए चयन हुआ है. वहीं, लॉकडाउन के दौरान जारी हुए एलडीसी परीक्षा परिणाम में योगेश सैनी और अभिषेक महला का चयन हुआ है.

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