झालावाड़.कोरोना की दूसरी लहर ने कई लोगों से उनका परिवार छीन लिया तो कई बच्चों को अनाथ कर दिया. ऐसा ही कुछ झालावाड़ के सुनेल ब्लॉक के मगीसपुर ग्राम पंचायत के पाटीदार परिवार के साथ हुआ है. परिवार के भाई-बहन ने महज 18 दिन में अपने मां-बाप और बड़ी बहन को खो दिया.
कोरोना के चलते परिवार के मुखिया की मौत हो गई थी. पिता की मौत का गम अभी ताजा ही था कि कोरोना ने बच्चों से उनकी मां को भी छीन लिया. माता-पिता के जाने के बाद बड़ी बहन भी चल बसी. ऐसे में देखते ही देखते 5 लोगों का हंसता-खेलता परिवार उजड़ गया.
मृतक के बेटे भरत पाटीदार ने बताया कि उनके पिता रामकिशन पाटीदार की 28 अप्रैल को कोरोना से मौत हो गई थी. इसके बाद 4 मई को उनकी मां निर्मला बाई और 15 मई को उनकी बहन वंदना पाटीदार ने भी दम तोड़ दिया. अब उनके परिवार में वो और उसकी बड़ी बहन बची हैं.
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अबतक किसी योजना का लाभ नहीं
भरत ने बताया कि वो कॉलेज में सेकेंड ईयर में पढ़ता है. भरत पर अब बहन की जिम्मेदारी है. माता-पिता के जाने के बाद अचानक भरत के सामने संकट खड़ा हो गया है. हालांकि सरकार ने अनाथ हुए बच्चों के लिए कई एलान किए हैं, लेकिन अबतक भरत को किसी भी योजना का लाभ नहीं मिला है.
सरकार से मदद की गुहार
भरत ने अब सरकार से मदद की गुहार लगाई है ताकि वह बेहतर शिक्षा हासिल कर सके. मगीसपुर ग्राम पंचायत के पूर्व सरपंच ने बताया कि कोरोना का कहर उनके पूरे गांव में देखने को मिला था. गांव के तकरीबन 80 फीसदी लोग कोरोना संक्रमित हो गए थे. इसके अलावा 5 लोगों ने दम तोड़ दिया था. अब धीरे-धीरे ग्रामीण एक दूसरे के दुख में साथ खड़े होकर इस चुनौती का सामना कर रहे हैं.