जयपुर/लखनऊ: दरअसल लंबे समय से शहीद स्मारक (Martyrs Memorial Jaipur) पर राजस्थान बेरोजगार एकीकृत महासंघ (Rajasthan Unemployed Unified Federation) के बैनर तले प्रदेश के युवा लगातार आंदोलन कर रहे हैं और यह आंदोलन आज भी जारी है.
राज्य सरकार की ओर से सुनवाई नहीं होने के चलते बेरोजगार युवा पिछले 4 दिनों से यूपी के लखनऊ स्थित कांग्रेस प्रदेश कार्यालय के बाहर प्रदर्शन कर रहे हैं. उनका आमरण अनशन (Fast Unto Death Of Youth) भी जारी है. फेडरेशन अपनी मांग प्रियंका गांधी तक पहुंचाना चाहते हैं.
उपेन यादव का खुला चैलेंज- साबित करो नहीं तो... पढ़ें-Upen yadav youth movement: तीन दिन बाद भी सुनवाई नहीं, प्रियंका गांधी से गुहार...मांगों को लेकर भूखे-प्यासे आंदोलन पर बेरोजगार
दूसरी ओर कांग्रेस के कुछ नेताओं ने ट्वीट (Congress Tweet On Upen) कर आरोप लगाया था कि यूपी में जो बेरोजगार आंदोलन कर रहे हैं वह भाजपा के एजेंट हैं और चुनाव में टिकट चाहते हैं.
इस आरोप पर उपेन यादव ने खुली चुनौती दी है. कहा है कि कुछ लोग हम पर भाजपा के एजेंट होने और टिकट लेने का आरोप लगा रहे हैं यदि कोई भी यह बात साबित कर दें तो वे तुरंत राजस्थान लौट जाएंगे और किसी भी सजा के हकदार होंगे.
यादव ने कहा कि यदि सरकार हमारी शेष मांगों को मान लें तो हम लिख कर देने को तैयार हैं कि हम किसी भी पार्टी से चुनाव नहीं लड़ेंगे. इसके लिए सरकार को लिखित समझौते की पालना करनी होगी, लेकिन सरकार काम नहीं करना चाहती और जब अपने हक के लिए बेरोजगार युवा आवाज उठा रहे हैं तो उन्हें पार्टी का एजेंट और ब्लैकमेलर बताया जा रहा है.
उपेन ने कहा कि जब न्याय की गुहार लगा रहे थे, समर्थन दे रहे थे, तब क्या हम एजेंट (Agent Of BJP) नहीं थे? जब हम भाजपा राज में आंदोलन करते थे तो क्या उस समय भी कांग्रेस हमें उकसाती थी? उपेन ने कहा कि 4 दिसंबर 2018 को बड़े नेताओं के सामने कांग्रेस को पीसीसी में समर्थन दिया था और अब सरकार हमारी मांगे पूरी नहीं कर रही. उपेन यादव ने चेतावनी दी है कि यदि बेरोजगारों की मांगे नहीं मानी जाती है तो यह कांग्रेस को भारी पड़ने वाला है.