जयपुर. पटवारी भर्ती में वेटिंग लिस्ट से नियुक्ति देने पर रोक लग गई है. सीजे पंकज मित्थल और जस्टिस शुभा मेहता की खंडपीठ ने यह आदेश रितेश कुमार व अन्य की अपील पर दिए. हाईकोर्ट की एकलपीठ ने गत दिनों वेटिंग लिस्ट से नियुक्ति पर लगी रोक को हटाते हुए नियुक्ति प्रक्रिया को चुनौती देने वाली पांच दर्जन याचिकाओं को खारिज कर दिया था. एकलपीठ के इस आदेश के खिलाफ खंडपीठ में चुनौती दी गई थी.
अपील में अधिवक्ता विज्ञान शाह ने अदालत को बताया कि पटवारी भर्ती-2020 की प्रतियोगी परीक्षा अक्टूबर 2021 में हुई थी. इसमें प्रथम पारी का पेपर देने वाले सबसे ज्यादा 33 फीसदी अभ्यर्थी चयनित हुए थे, जबकि चौथी पारी में पेपर देने वालों में से केवल 11 फीसदी अभ्यर्थियों का ही चयन हुआ है. चयन बोर्ड ने भर्ती में नॉर्मलाइजेशन की प्रक्रिया सही तरीके से नहीं अपनाई है. ऐसा संभव नहीं हो सकता कि भर्ती में एक ही पारी वालों का सबसे ज्यादा चयन हुआ हो. बोर्ड अब वेटिंग लिस्ट के खाली पदों पर भी नियुक्ति की प्रक्रिया शुरू कर रहा है. नियुक्ति प्रक्रिया पूरी होने पर याचिकाकर्ताओं के हित प्रभावित होंगे और वे नियुक्ति से वंचित रह जाएंगे.