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गाड़ोता में पेट्रोल पंप पर हुई 10 लाख की लूट का 48 घंटे में पर्दाफाश, पीड़ित सेल्समैन ने ही रचा था लूट का पूरा षड्यंत्र

जयपुर के दूदू में पेट्रोल पंप में हुई लूट की वारदात का पर्दाफाश करते हुए पुलिस ने आरोपी को गिरफ्तार कर लिया. वहीं पूछताछ में आरोपी ने वारदात को अंजाम देने की बात स्वीकारी है.

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10 लाख की लूट का 48 घण्टे में पर्दाफाश

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Published : Feb 20, 2020, 11:17 PM IST

जयपुर. जिले के दूदू में गाड़ोता गांव में हुई पेट्रोल पंप के सेल्समैन से 10 लाख रुपये की लूट के मामले में पुलिस ने महज 48 घण्टे में पर्दाफाश किया है. एएसपी लक्ष्मदास स्वामी ने बताया कि 3 दिन पहले गाड़ोता में पेट्रोल पंप के सेल्समैन पप्पू जाट की आंखों में मिर्ची डालकर पेट्रोल पंप के कलेक्शन के 10 लाख 14 लूटने की सूचना मिली थी.

10 लाख की लूट का 48 घण्टे में पर्दाफाश

जिसके बाद पुलिस घटना स्थल पर पहुंची और एफएसएल टीम से चर्चा की, तो पुलिस को घटना सन्दिग्ध लगी.जिसके बाद पुलिस ने पीड़ित सेल्समैन से कड़ी पूछताछ की गई. जिसमें सेल्समैन पप्पू चौधरी ने वारदात को अंजाम देने की बात स्वीकार की. साथ ही कहा कि यह वारदात उसने अपने साथियों के साथ मिलकर करवाई.

बता दें कि पप्पू शेयर मार्केट में पैसा लगाता था जोकि घाटे में चल रहा था. जिसकी भरपाई करने के लिए पप्पू ने पंप का पैसा लूटने की योजना बनाई. इस योजना में अपने गांव भूकनी के रामराज मील को तैयार किया. जिसने अपने दोस्त हटमोरिया निवासी नौजवान कुमावत और अमित सिंह को इस घटना में शामिल किया.

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घटना से पहले ही पप्पू ने रुपयों से भरा बैग रामराज को दे दिया. जिसके बाद नौजवान कुमावत को अमित सिंह ने पप्पू चौधरी की आंखों में मिर्ची डाल दी और सिर में पत्थर से वार कर वहां से भाग गए. अगले दिन चारों ने पैसा बांट लिया.

पप्पू ने नौजवान कुमावत अमित को 50- 50 हजार दे दिए और 5 लाख स्वयं रख लिए. वहीं 4 लाख 10 हजार रामराज को दे दिए.फिलहाल पुलिस ने चारों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है. वहीं घटना में शामिल तीनों बाइक्स को भी कब्जे में ले लिया है.

पुलिस ने बताया कि घटना में मास्टरमाइंड पप्पू ने घटना को अंजाम देने में काफी सावधानी बरती थी.घटना से पहले जब ये चारों आपस में मिलते तो मिलने से काफी पहले ही पप्पू इन सभी के मोबाईल स्विच ऑफ करवा देता था. घटना से पहले भी पप्पू के अलावा तीनों अभियुक्तों ने अपना मोबाइल स्विच ऑफ कर लिया था.

पप्पू ने गुमराह करने के लिए सफेद गाड़ी को वारदात में होना बताया. वहीं स्वयं का मोबाइल भी तोड़ दिया ताकि पुलिस को किसी प्रकार का शक नहीं हो, लेकिन पुलिस ने मात्र 48 घंटे में ही पूरे प्रकरण का खुलासा कर दिया है.

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