जयपुर.राजस्थान में शुक्रवार को Invest Rajasthan Summit 2022 समारोह का आयोजन हुआ. इसमें सीएम अशोक गहलोत और राजस्थान सरकार के मंत्रियों के साथ ही उद्योगपति गौतम अडानी भी शामिल हुए. इस मौके पर प्रदेश के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने गौतम अडानी की जमकर तारीफ (CM Gehlot praises Gautam Adani) की. इसे लेकर भाजपा ने कांग्रेस पर तंज कसा. वहीं, बीजेपी की ओर से निशाना साधे जाने पर एक पत्र जारी कर सीएम गहलोत ने पलटवार (Gehlot targets Rajasthan BJP) किया है.
गहलोत ने कहा कि भाजपा कांग्रेस सरकार के अंधविरोध के आगे युवाओं के भविष्य का विरोध कर रही है. उन्होंने कहा कि आज राजस्थान में करीब 11 लाख करोड़ रुपए के निवेश प्रस्ताव आए हैं. यह दिखाता है कि राजस्थान की ट्रेडिशनल छवि बदलकर अब इन्वेस्टमेंट फ्रेंडली डेस्टिनेशन की छवि बनी है. इसके साथ ही अलग-अलग बिजनेसमैन ने इन प्रस्तावों के इतर सोशल कमिटमेंट्स भी किए हैं. इन्वेस्ट राजस्थान से करीब 10 लाख युवाओं के लिए रोजगार के अवसर मिलने की संभावना है. इन्वेस्ट राजस्थान कार्यक्रम में सिर्फ MoU और LoI साइन ही नहीं हुए बल्कि करीब 40 फीसदी प्रोजेक्ट अगली स्टेज में पहुंच गए हैं.
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भाजपा निगेटिव पब्लिसिटी कर रही है- मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि आज देश-दुनिया के बिजनेसमैन यहां आए और यहां मिले सम्मान से अभिभूत दिखे. 3000 से अधिक निवेशकों में सभी विचारधाराओं के व्यापारी शामिल थे. जो लोग इस पर सवाल उठा रहे हैं उन्हें बताना चाहिए कि कई व्यापारी किसी पार्टी में शामिल हो जाते हैं तो क्या वो दूसरे राज्यों में निवेश नहीं करते? राज्य में अभी तक का सबसे बड़ा निवेश आ रहा है, लेकिन मुझे बड़ा अफसोस है कि भारतीय जनता पार्टी इस इवेंट की निगेटिव पब्लिसिटी में लगी हुई है.
गहलोत ने कहा कि कांग्रेस पार्टी कभी उद्योगों के खिलाफ नहीं रही. देश में उदारीकरण कर उद्योगों के लिए सकारात्मक माहौल बनाने का काम कांग्रेस ने किया. हमारा विरोध किसी व्यक्ति विशेष को फायदा पहुंचाने के लिए बनाई गई नीतियों या दूसरे का हक मारकर किसी को फायदा पहुंचाने से है.
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ये कानून कांग्रेस सरकार की देन-सीएम गहलोत ने कहा कि मनमोहन सिंह और सोनिया गांधी के नेतृत्व वाली UPA सरकार के समय भी हमने राइट आधारित कानून बनाए. आम आदमी को हक दिया. मनरेगा, RTI, RTE और NFSA जैसे कानून बनाए गए. UPA सरकार के 10 सालों में 27 करोड़ लोगों को गरीबी रेखा से बाहर निकाला गया. साथ ही MSME, छोटे से लेकर बड़े व्यापारियों तक को साथ लेकर देश की अर्थव्यवस्था को मजबूत किया. 2006 में MSME एक्ट बनाने के बाद MSME मंत्रालय का गठन भी पहली बार यूपीए सरकार के दौरान किया गया. यही वजह थी कि जब देश में आर्थिक मंदी आई तब भी भारत में मंदी नहीं आई.
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युवाओं के भविष्य का विरोध- सीएम अशोक गहलोत ने कहा कि ये समझ नहीं आया कि भाजपा ने इस कार्यक्रम का विरोध क्यों किया. आप अशोक गहलोत का विरोध करिए, कांग्रेस का विरोध करिए पर राजस्थान के युवाओं के भविष्य के मौकों का विरोध क्यों कर रहे हैं. क्या राजस्थान भाजपा हमारे इतने अंधविरोध में आ गई है कि वो प्रदेश के सुनहरे भविष्य के लिए हो रहे कामों का भी विरोध करेगी ? क्या भाजपा अब अशोक गहलोत का विरोध करते करते राजस्थान का ही विरोध करने पर उतारू हो गई है ? राजीव गांधी के समय इन्होंने कम्प्यूटर का विरोध बैलगाड़ी से चलकर किया था. आज पूरा प्रदेश देख रहा है कि जब राजस्थान में आने वाले निवेश और नौकरियों का विरोध कर भाजपा राजस्थान का अहित करने का प्रयास कर रही है.
बयान दिए बिना राठौड़ को नींद नहीं आतीः सीएम अशोक गहलोत ने राजेंद्र राठौड़ को लेकर कहा कि जब तक राजेंद्र राठौड़ मीडिया में बयान नहीं देते तब तक उन्हें रात को नींद नहीं आती. राजेंद्र राठौड़ के बोलने में कोई दम नहीं है. बीजेपी की यह बयान बाजी बीजेपी के लिए ही महंगी पड़ने वाली है. क्योंकि इस समिट के माध्यम से जो निवेश राजस्थान में आएगा उससे काफी रोजगार के अवसर पैदा होंगे और युवाओं को रोजगार मिलेगा. सीएम ने कहा कि यह कोई प्राइवेट प्रोग्राम नहीं है. इन्वेस्टर से जुड़ा प्रोग्राम है जहां 3000 से अधिक लोग शिरकत करने पहुंचे हैं. इन लोगों में बीजेपी और कांग्रेस दोनों के लोग हो सकते हैं.
सीएम अशोक गहलोत ने कहा कि चाहे अडानी हो चाहे अंबानी हो या फिर अमित शाह के बेटे जय शाह हो हम सभी का राजस्थान में स्वागत करते हैं. कार्यक्रम की समाप्ति के बाद सीएम अशोक गहलोत ने कहा की कोविड-19 संक्रमण के बाद सरकार ने जो इन्वेस्ट को लेकर कदम उठाए हैं. उससे रोजगार के अवसर उत्पन्न होंगे. गहलोत ने कहा कि पिछली सरकार ने एमओयू तो साइन किए लेकिन धरातल पर नहीं उतर पाए. लेकिन हम अधिक से अधिक एमओयू को धरातल पर उतारने का प्रयास करेंगे.
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उन्होंने कहा कि उद्योगपतियों को पहले निवेश को लेकर काफी परेशानी का सामना उठाना पड़ता था. लेकिन हमने इन्वेस्ट को लेकर काफी रियायत मुहैया करवाई है. उन्होंने कहा कि राजस्थान में रिफाइनरी और पेट्रो केमिकल प्रोजेक्ट आ रहा है. राजस्थान में सोलर से जुड़ी कंपनियां इन्वेस्ट कर रही है तो ऐसे में रोजगार की संभावनाएं राजस्थान में बढ़ेगी. उन्होंने कहा कि सरकारी नौकरी की एक सीमा होती है और सरकार एक निश्चित सीमा तक की सरकारी नौकरी लोगों को उपलब्ध करा सकती है. लेकिन जब तक राजस्थान में निवेश नहीं होगा, बड़ी-बड़ी कंपनियां नहीं आएगी तब तक रोजगार के अवसर पैदा नहीं होंगे. उन्होंने दावा किया कि राज्य सरकार ने 3 लाख 55हजार सरकारी नौकरी देने का रिकॉर्ड बनाया है.