जयपुर. राजस्थान विधानसभा में गुरुवार को हुई सीपीए की कार्यशाल में भाग लेने के लिए समापन सत्र में चुनाव आयुक्त सुशील चंद्रा भी आए और उन्होंने इस सत्र में जोया हसन के लोकतंत्र के बदलाव की बात पर कहा कि लोकतंत्र इसलिए बदला है, क्योंकि देश का वोटर बदल गया है. ये इसलिए नहीं कि कौन इलेक्शन लड़ रहा है. उन्होंने कहा कि हमारे पास पहली बार के वोटर है, युवा वोटर है, जो पढ़े-लिखे हैं. जो जानते हैं कि क्या इश्यु है जो सेन्ट्रल गर्वमेंट से जुड़े हैं तो वहीं क्या इश्यू है, जो प्रदेश सरकार से जुड़े हैं. यही कारण है कि लोग समझ रहे हैं कि अगर देश का चुनाव है तो वो देश की इकॉनोमी, डिफेंस और स्ट्रेंथ ऑफ लीडर देख रहे हैं.
वो जानते हैं कि इलेक्शन अगर स्थानीय हैं तो राज्य सरकार को देखकर वोट देता है. यही कारण है कि हम देख रहे हैं कि वोटर 6 महीने पहले हुए चुनाव में विधानसभा में किसी और पार्टी को चुन रहा है तो 6 महीने बाद ही वो लोकसभा में उसी वोटिंग मशीन से उसी जगह दूसरी पार्टी को चुन रहा है.
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उनका कहना रहा कि आज से 20 साल पहले लोगों को ये पता नहीं था कि वो अपनी नाली को सही करवाने के लिए किसको वोट दें. सड़क के लिए किसको वोट दें और अस्पताल के लिए किसको वोट दें और बिजली-पानी के लिए किसको. उन्होंने कहा कि 20 साल पहले बात अलग थी. उस समय मिक्स पैटर्न था और जो भी खामी होती थी, उसके लिए लोग पार्लियामेंट को जिम्मेदार ठहराते हुए उनके खिलाफ वोट करते थे, लेकिन आज पढ़ा-लिखा मतदाता है और गांवों में भी लोग समझते हैं कि उन्हें क्या करना है.