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जोगेश्वर गर्ग बने मुख्य सचेतक, विधानसभा में संभालेंगे फ्लोर मैनेजमेंट

जालौर से विधायक जोगेश्वर गर्ग अब राजस्थान विधानसभा में मुख्य सचेतक की भूमिका में नजर आएंगे. गर्ग पांचवीं बार विधायक बने हैं.

Jogeshwar Garg appointed as Government Chief Whip
जोगेश्वर गर्ग बने मुख्य सचेतक

By ETV Bharat Rajasthan Team

Published : Jan 9, 2024, 6:24 PM IST

Updated : Jan 9, 2024, 9:13 PM IST

वरिष्ठ नेताओं की हार पर क्या बोले जोगेश्वर गर्ग

जयपुर. राजस्थान विधानसभा में सत्ता पक्ष की ओर से विधायक जोगेश्वर गर्ग मुख्य सचेतक की भूमिका में नजर आएंगे. इस बारे में खुद गर्ग ने पुष्टि की है. इस महीने से शुरू होने वाले विधानसभा सत्र में जोगेश्वर गर्ग नई भूमिका के साथ सदन में पहुंचेंगे.

जालौर से विधायक जोगेश्वर गर्ग अब भाजपा की ओर से विधानसभा में मुख्य सचेतक तक होंगे. वह सत्ता पक्ष की ओर से फ्लोर मैनेजमेंट को संभालेंगे. संघ की पृष्ठभूमि और तजुर्बेकार नेता के रूप में उम्मीद की जा रही थी कि गर्ग राजस्थान सरकार में एक महत्वपूर्ण पद हासिल करने में कामयाब रहेंगे. वे पांचवीं बार विधायक बने हैं. इससे पहले भैरों सिंह सरकार में राज्य मंत्री रह चुके हैं.

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मुरली मनोहर जोशी और नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में हुई एकता यात्रा में जोगेश्वर गर्ग ने राज्य मंत्री का पद छोड़कर भाग लिया था. इसके अलावा वे राम मंदिर आंदोलन में कार सेवक की भूमिका में भी नजर आए थे. जोगेश्वर गर्ग को मुख्य सचेतक बनाए जाने की खबर के बाद उन्हें बधाई देने का सिलसिला तेज हो चला है. चुनाव के बाद इस बात का कयास लगाया जा रहा था कि बतौर काबीना मंत्री भजनलाल सरकार में जोगेश्वर गर्ग एक बड़े दलित चेहरे के रूप में नजर आएंगे, परंतु उन्हें अनुभव के आधार पर अब फ्लोर मैनेजमेंट का जिम्मा मिला है.

लोकतंत्र में मजबूत विपक्ष जरूरी:जोगेश्वर गर्ग ने ईटीवी भारत से खास बात करते हुए कहा कि मुख्यमंत्री ने मुझे चार-पांच बार संकेत दिया है कि आपको ऐसी कोई जिम्मेदारी दी जा सकती है. मैंने कहा था कि पार्टी ने आज तक जो भी मुझे जिम्मेदारी दी है, उसको मैंने अच्छे से करने का प्रयास किया है. यह भी काम मिलेगा तो उसे अच्छे से करूंगा. मजबूत विपक्ष को लेकर उन्होंने कहा कि लोकतंत्र में विपक्ष को मजबूत होना चाहिए, कमजोर विपक्ष कभी अच्छा रिजल्ट नहीं निकलता है. कमजोर विपक्ष होता है, तो सत्ता पक्ष आलसी हो सकता है, कमजोर हो सकता है, इसलिए विपक्ष मजबूत होना अच्छा है और हम कोशिश करेंगे की मजबूत विपक्ष कारण अच्छा रिजल्ट सामने आएगा. मजबूत विपक्ष की ओर से कोई काम में बाधा नहीं आएगी.

वरिष्ठ नेताओं की हार पर उन्होंने कहा कि यह सही है कि काफी सीनियर नेता हार गए हैं, हम उनको मिस करेंगे, वह होते तो हम और अच्छे से सदन में काम करते हैं, लेकिन जो हैं, वे सब वरिष्ठ बन जाएंगे. सबको हम समझदार बनाएंगे. सब मिलकर मजबूती से काम करेंगे. गर्ग ने कहा कि मैं समझता हूं कि विपक्ष के साथ टकराव की स्थिति नहीं आएगी, सकारात्मक काम करने का प्रयास करेंगे और सकारात्मक काम का कोई विरोध नहीं करता है.

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बड़ी जिम्मेदारी के सवाल पर उन्होंने कहा कि लगभग हर बार यह होता है कि 65 से 75 के बीच में नए विधायक आते हैं. जो नए विधायक आए हैं, उनके लिए हम लगातार कार्यक्रम कर रहे हैं और अच्छे से उनको तैयार किया जाएगा. वरिष्ठ लोगों के द्वारा उनको जानकारी दी जाएगी, किस तरह से फ्लोर में वह काम करें और जनता के काम कैसे ज्यादा से ज्यादा किए जा सकें. जल्दी आपको उसका असर दिखाई देगा.

विधानसभा सत्र 19 जनवरी से शुरू हो रहा है. विधानसभा सत्र के लिए उन्होंने कहा कि उस दिन राज्यपाल का ​अभिभाषण होगा. 20 जनवरी को उस पर बहस होगी. उसके बाद सदन की कार्यवाही नियमित चलेगी. उन्होंने कहा कि सब मिलकर अच्छा काम करेंगे. सार्थक बहस होगी. विपक्ष में रहते हुए भूमिका निभाने पर उन्होंने कहा कि मैं तीन बार सत्ता पक्ष में भूमिका में रहा हूं. एक बार विपक्ष में भूमिका में रहा हूं और इस बार चौथी बार मुझे मौका मिला है, तो इसको भी बेहतर से निभाने की कोशिश करूंगा.

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शेखावत सरकार में 1990 में मंत्री रह चुके हैं गर्ग: गर्ग 1990 में भैरोसिंह शेखावत के नेतृत्व वाली सरकार में स्वतंत्र प्रभार वाले राज्य मंत्री रह चुके हैं. उनके पास यूडीएच, स्वायत्त शासन और पीएचईडी, आयुर्वेद विभाग थे. गर्ग बीजेपी में कई पदों पर रह चुके हैं. गर्ग बीजेपी एससी मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष, राष्ट्रीय मंत्री रह चुके हैं. बीजेपी की राष्ट्रीय परिषद और बीजेपी प्रदेश कार्यसमिति सदस्य भी रह चुके हैं. जोगेश्वर गर्ग 1968 से आरएसएस में सक्रिय रहे हैं. बता दें कि गर्ग विपक्ष में रहते हुए भी सदन में मजबूती पक्ष रखने के लिए जाने जाते हैं.

जोशी के साथ लाल चौक पर तिरंगा फहराने श्रीनगर गए थे गर्ग: बता दें कि जोगेश्वर गर्ग शुरू से ही आरएसएस और हिंदूवादी संगठनों के साथ सक्रिय रहे हैं. जोगेश्वर गर्ग भैरोंसिंह शेखावत सरकार में मंत्री थे, उस वक्त श्रीनगर के लालचौक में तिरंगा फहराने के आंदोलन में शामिल होने के लिए जनवरी 1992 में मंत्री पद से इस्तीफा दे दिया था. उस वक्त मुरली मनोहर जोशी नेतृत्व कर रहे थे और मौजूदा पीएम नरेंद्र मोदी उस अभियान का जिम्मा संभाल रहे थे. गर्ग भी मुरली मनोहर जोशी, नरेंद्र मोदी के साथ जाने वाले प्रमुख नेताओं में थे. गर्ग बाद में दिसंबर 1992 में अयोध्या में कारसेवा के लिए भी गए थे. अयोध्या में बाबरी ढांचा गिराए जाने के बाद राजस्थान में तत्कालीन भैरोंसिंह शेखावत सरकार को केंद्र ने बर्खास्त कर राष्ट्रपति शासन लगा दिया था.

Last Updated : Jan 9, 2024, 9:13 PM IST

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