हनुमानगढ़. केन्द्र की मोदी सरकार की ओर से लागू तीनों अध्यायदेशों में सकरात्मक प्रचार के लिए जंक्शन के जाट भवन में प्रेस वार्ता का आयोजन किया गया. इस दौरान कृषि कानूनों के फायदे गिनाते हुए कांग्रेस सरकार पर गंभीर आरोप लगाए.
भाजपा किसान मोर्चा के प्रदेशाध्यक्ष हरिराम रणवां ने प्रेसवार्ता में कहा कि देश का किसान स्वतंत्र हो, किसान सशक्त हो, किसान खुशहाल हो, इसके लिए मोदी सरकार प्रतिबद्ध है. किसानों की आमदनी दोगुनी करने के लिए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की ओर से निरंतर प्रयास किए जा रहे हैं, लेकिन चिंता की बात ये है कि विपक्ष की पार्टियां प्रमुख रूप से कांग्रेस जिन्होंने सदैव किसानों को ठगा ही है धोखा ही दिया है, वो ही किसान आंदोलन को हवा दे रहे हैं.
हरिराम रणवां ने कहा कि देश के 99 प्रतिशत से अधिक किसान नरेन्द्र मोदी के साथ खड़े हैं, उन्होंने कहा कि कांग्रेस के नेता कपिल सिब्बल ने 04 दिसम्बर 2012 को संसद में बोला था कि कृषि बाजार को खोला जाए वही कांग्रेस आज विरोध कर रही है. कांग्रेस पार्टी के घोषणा पत्र के पेज नम्बर 18 में स्पष्ट लिखा गया है कि आवश्यक वस्तु अधिनियम को समाप्त करेंगे, वो आज विरोध कर रही है. इसके अलावा राहुल गांधी ने खुद 27 दिसम्बर, 2013 को ये कहा कि एपीएमसी से फल और सब्जियों को डिलिस्ट कर देना चाहिए.
उन्होंने कहा कि कृषि सुधार एक्ट से किसानों के जीवन में आमूलचूल परिवर्तन आयेगा लायेगा, कांग्रेस अपने निजी स्वार्थ के लिए उसका विरोध कर रही है. वहीं, पूर्व मंत्री डॉक्टर रामप्रताप ने कहा कि अब किसान जानता है और किसान को विश्वास भी है कि देश की आजादी के बाद किसानों के खाते में अगर पैसे सीधे डालने का काम किया है, और सबसे अधिक फसल मुआवजा और ऋण माफी का काम किया है तो राजस्थान की पूर्व भाजपा सरकार और मोदी ने किया है. जबकि कांग्रेस शासन में स्वयं राजीव गांधी बोलते थे कि 15 प्रतिशत ही पैसा पहुंचता है और 85 प्रतिशत पैसा गायब हो जाता है, लेकिन यहां मोदी सरकार 100 प्रतिशत पैसा किसानों के खाते में पहुंच रही है.