हनुमानगढ़. जिले से निकलने वाले स्टेट हाईवे -76 पर किशनपुरा उत्तराधा गांव से लेकर संगरिया तक काटे गए पेड़ों को खुर्दबुर्द कर दिया गया है. ऐसे में रविवार को पर्यावरण प्रेमियों ने एक पत्रकार वार्ता आयोजित कर पेड़ों को खुर्दबुर्द करने के मामले में आरोपियों को जल्द गिरफ्तार करने की मांग की है.
हनुमानगढ़ पेड़ कटाई का मामला पत्रकार वार्ता में आरटीआई कार्यकर्ता और पर्यावरण प्रेमी धालीवाल ने पत्रकारों को बताया कि सादुलशहर-संगरिया स्टेट हाईवे-76 का सड़क निर्माण कार्य पीपीपी मोड पर पीडब्ल्यूडी द्वारा मैसर्स कॉन्ति प्रसाद मित्तल कम्पनी (केपीएम), गाजियाबाद, मेरठ (यूपी) को दिया गया था. जिसमें उक्त फर्म ने मैसर्स एमके कंस्ट्रक्शन कुमावत ने आगे सब कॉन्ट्रैक्ट देकर इस सड़क पर सादुलशहर साइड में सड़क निर्माण का कार्य शुरू करवाया था. इसमें कार्य के शुरुआत में ही किशनपुरा उतराधा से संगरिया तक सड़क किनारे लगे पेड़ों को अवैध रूप से काटकर खुर्दबुर्द कर दिया गया. जिसका परिवाद संगरिया थाने में दिनांक 26.10.20 को दिया गया था.
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साथ ही वन विभाग ने भी उक्त फर्म के टूल्स जब्त कर लिए थे. वन विभाग ने काटे गए पेड़ों का निरीक्षण किया, तो पाया गया कि रिकार्ड में मार्किंग करके लिए गए पेड़ों में से 109 बड़े पेड़ काटे गए हैं. जिसमें 52 खेजड़ी के थे. जिससे पर्यावरण प्रमियों की धार्मिक भावनाएं आहात हुई है.
आरटीआई कार्यकर्ता जसविंदर धालीवाल ने पेड़ों की कटाई को आपराधिक कृत्य बताते हुए शिवा मित्तल गाजियाबाद, मेरठ (यूपी) दीपक शर्मा, डिप्टी मैनेजर, केपीए कंपनी, प्रिंस कुमार तकनीकी सहायक, केपीएम कंपनी, मैसर एमके कनस्ट्रक्शन कुमावत के खिलाफ संगरिया थाने में नामजद परिवाद दिया है. नामजद सभी को शीघ्र गिरफ्तार करने की मांग करते हुए चेतावनी दी है कि अगर शीघ्र कार्रवाई नहीं हुई तो सभी पर्यावरण प्रेमी आंदोलन करने को बाध्य होंगे. जिसकी समस्त जिम्मेदारी शासन-प्रशासन की होगी.
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सुप्रीम कोर्ट की गाइडलाइन के अनुसार काटे गए पेड़ के बदले 10 गुना नए पेड़ लगाना अनिवार्य है. वही केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी भी लोकसभा में ये बात कह चुके हैं कि हाइवे के निर्माण के लिए पेड़ों को काटने की बजाय उनके प्रतिरोपण (Transplantation) किया जाएगा. क्योंकि इससे सड़क के निर्माण में देरी नहीं होगी और पर्यावरण संरक्षण भी होगा. अब इस मामले में देखने वाली बात होगी कि, संगरिया पुलिस कब तक मुकदमा दर्ज कर कार्रवाई शुरू करती है.