धौलपुर. दिहोली थाना क्षेत्र के मरैना कस्बे में हथियारों की नोक पर बैंक में डकैती करने के बाद मुठभेड़ में गोली लगने से गिरफ्तार तीन बदमाशों ने पूछताछ में बड़ा खुलासा किया है. बदमाशों ने प्रदेश में 6 बैंक डकैती की घटनाओं को कबूला है. इसके अलावा बाइक चोरी एवं अन्य वारदातों को भी स्वीकार किया है.
मनिया सीओ दीपक खंडेलवाल ने बताया कि गत 8 फरवरी की दोपहर दो बाइकों पर सवार होकर आए 6 बदमाश मरैना कस्बे में स्थित पंजाब नेशनल बैंक में घुस गए. बदमाशों ने हथियारों की नोक पर बैंककर्मियों को डरा-धमका कर करीब 4 लाख का कैश लूट लिया. घटना को अंजाम देकर बदमाश फरार हो गए. उन्होंने बताया कि पुलिस ने इलाके में नाकाबंदी कराई. पुलिस बदमाशों का लगातार पीछा करती रही. राधे का पुरा गांव के पास पुलिस और बदमाशों में मुठभेड़ हो गई. बदमाश सौरभ, अंकित एवं विवेक के पैरों में गोली लगने से गिरफ्तार कर लिया गया. वहीं तीन बदमाश जंगल में कूदकर फरार हो गए. उन्होंने बताया कि न्यायालय में पेश कर बदमाशों को पीसी रिमांड पर लिया था.
पढ़ें:Dholpur Bank Loot Case : पुलिस मित्रों ने साहस का परिचय देकर तीन बदमाशों को पकड़वाया, SP ने किया सम्मानित
6 बैंकों में डाली डकैती:सीओ दीपक खंडेलवाल ने बताया कि मरैना बैंक डकैती की घटना से पूर्व बदमाशों ने राजस्थान में बैंक डकैती की बड़ी घटनाओं को अंजाम दिया है. उन्होंने बताया कि जनवरी 2023 में मंडावरी दौसा बैंक डकैती, अक्टूबर 2022 में सपोटरा करौली बैंक डकैती, जुलाई 2022 में नादौती बैंक डकैती, सितंबर 2022 में दूनी टोंक बैंक डकैती, अप्रैल 2022 में बामनवास सवाई माधोपुर बैंक डकैती एवं जनवरी 2022 में भरतपुर में बैंक डकैती की घटना को अंजाम दिया. इसके अलावा बदमाशों ने बाइक चोरी एवं लूट की अन्य वारदातों को भी अंजाम दिया. बदमाशों से पुलिस पूछताछ कर रही है. अनुसंधान में अन्य महत्वपूर्ण वारदातें खुल सकती हैं.
पढ़ें:Bank Loot in Dholpur : बैंक में डकैती, 6 बदमाश लाखों रुपए लूटकर हुए फरार, पुलिस मुठभेड़ में तीन के पैरों में लगी गोली
गैंग में करीब एक दर्जन सदस्य: सीओ दीपक खंडेलवाल ने बताया कि करीब एक दर्जन युवा बदमाशों की गैंग है. जिनमें प्रमुख रूप से राहुल, गिर्राज, शिवा निवासी बसेड़ी फरार है, जो मरैना बैंक डकैती की घटना में शामिल रहे हैं. इनके अलावा मोनू, दीपू, बिट्टू, पंकज, रघु, गट्टे कुशवाह, उदय, चंदू, आशू गैंग मेंबर्स हैं. बदमाश अलग-अलग गैंग बनाकर लूट की घटनाओं को अंजाम देते हैं. वारदात का सबसे अधिक फोकस बैंक डकैती का रहता है. सबसे पहले बैंकों की रैकी की जाती है. दोपहर 3 बजे के आसपास बैंक में केश जमा हो जाता है. इसके बाद सुनियोजित तरीके से घटना को अंजाम देते हैं.