दौसा. जिले में नगर परिषद चुनाव में बाड़ाबंदी को लेकर अब दोनों पार्टियां और सख्त होती नजर आ रही है. भाजपा द्वारा कांग्रेस में सेंधमारी के डर के चलते कांग्रेस अपने पार्षदों को लेकर आए दिन जगह बदलने में लगी हुई है. जिसके चलते अब भाजपा का कांग्रेस दोनों ही दलों में बड़ाबंदी और सख्त होती नजर आ रही है. अब बड़ाबंदी में पार्षदों के स्थान बदलने के साथ-साथ और सख्त कर एक-एक पार्षद पर नजर रखी जा रही है.
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गौरतलब है कि दौसा नगर परिषद चुनाव में कांग्रेस के 24 भाजपा के 15 पार्षद जीत कर आए हैं. इनके अलावा 14 निर्दलीय और 2 बसपा के पार्षद भी निर्वाचित हुए हैं. सभापति बहुमत के लिए 28 पार्षदों की जरूरत है. ऐसे में कांग्रेस प्रत्याशी ममता चौधरी को मात्र 4 और भाजपा प्रत्याशी अलका तिवारी को 13 पार्षद की आवश्यकता है. हालांकि भाजपा की कमजोर रणनीति और आपसी फूट का लाभ उठाकर मतगणना और परिणाम घोषित होते ही कांग्रेस ने विधायक मुरारी लाल मीणा के नेतृत्व में अधिकतम निर्दलीय और बसपा पार्षदों को अपने पक्ष में कर लिया. अब अपने पक्ष के विधायकों को बाड़ाबंदी कर शहर से बाहर होटलों में ले जाकर ठहरा दिया.
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