बाड़मेर. शनिवार को जिले में पीएमओ बीएल मंसूरिया ने प्रेसवार्ता आयोजित कर पिछले 6 सालों में हुई बच्चों की मौत के आंकड़े सामने रखे. बता दें कि कुछ दिनों पूर्व प्रमुख चिकित्सा अधिकारी द्वारा 6% बच्चों की मौत का बयान देने के बाद, वे विवादों में फंस गए. जिसके चलते यह प्रेस वार्ता आयोजित कर गलत तथ्यों को वापस लिया गया.
वार्ता में बताए गए आंकड़ों के अनुसार करीब 2.5% बच्चों की मृत्यु इलाज के दौरान ही हो रही है. सालाना बच्चों की मृत्यु की बात करें, तो प्रति वर्ष 226 बच्चों की मृत्यु इलाज के दौरान हो जाती है.
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वहीं साल दर साल भर्तीयों और मौत के आंकड़े कुछ इस प्रकार हैं
⦁ 2014 में 7922 भर्तियां, 221 मौत
⦁ 2015 में 7961 भर्तियां, 230 मौत
⦁ 2016 में 8013 भर्तियां, 190 मौत
⦁ 2017 में 8521 भर्तियां, 240 मौत
⦁ 2018 में 8498 भर्तियां, 218 मौत
⦁ 2019 में 8735 भर्तियां, 250 मौत
इस दौरान पीएमओ ने बाड़मेर के राजकीय अस्पताल में शिशु मृत्यु दर को चिंताजनक की बजाय सामान्य बताया. वार्ता में राजकीय चिकित्सालय के प्रमुख चिकित्सा अधिकारी डॉ बीएल मंसूरिया के साथ मुख्य चिकित्सा स्वास्थ्य अधिकारी डॉ कमलेश चौधरी भी मौजूद रहे.