बाड़मेर. ग्रामीण थाना पुलिस की कस्टडी में एक दलित युवक की संदिग्ध हालात में मौत के मामले में परिजनों का प्रदर्शन 24 घंटे से जारी है. परिजनों का आरोप है कि पुलिस कस्टडी के दौरान युवक के साथ मारपीट की गई, जिसके चलते उसकी मौत हो गई. युवक को पुलिस चोरी के आरोप में थाने लाई थी जबकि उसके खिलाफ किसी तरह का मामला दर्ज नहीं किया गया था.
जीतू खटीक प्रकरण में धरना स्थल पहुंचे बाड़मेर कलेक्टर अंशदीप इस पूरे मामले को लेकर धरने पर बैठे पीड़ित परिवार और खटीक समाज के लोगों से मिलने के लिए बाड़मेर जिला कलेक्टर अंशदीप, अतिरिक्त जिला कलेक्टर राकेश कुमार शर्मा, उपखंड अधिकारी नीरज मिश्र समेत कई प्रशासनिक अधिकारी धरना स्थल पर पहुंचे. जहां उन्होंने पीड़ित परिवार और धरने पर बैठे लोगों से मुलाकात कर उन्हें उचित कार्रवाई का भरोसा दिलाया.
पढ़ें-सदन में बवाल उठने से पहले सरकार का एक्शन, दलित युवक की पुलिस कस्टडी में मौत पर चर्चा आज
साथ ही उन्होंने शव का पोस्टमार्टम करवाने के लिए भी समझाइश की. इस दौरान उन्होंने मौके पर ही नगर परिषद के अधिकारियों को तुरंत मृतक के आश्रितों को मिलने वाली पेंशन शुरू कराने के निर्देश दिए. वहीं, मीडिया से बातचीत करते हुए कलेक्टर अंशदीप ने कहा कि पेंशनर और बच्चों के लिए पालनहार योजना शुरू करवाने के निर्देश दिए गए हैं.
कलेक्टर ने कहा कि ये मामला SC-ST एक्त के तहत आता है. जिसमें पोस्टमार्टम होने के बाद 4 लाख 12 हजार रुपए की आर्थिक सहायता मिलेगी. इसलिए हमने परिवार से कहा है कि वह पोस्टमार्टम करवाएं जिससे उन्हें आर्थिक सहायता मिल सके. साथ ही कलेक्टर ने कहा कि यह पूरा मामला जांच का विषय है. लेकिन कहीं ना कहीं इस पूरे मामले में लापरवाही जरूर रही है. उन्होंने कहा कि पीड़ित परिवार को हर संभव मदद दिलाई जाएगी.