अलवर. जिले में सरिस्का का देश-विदेश में अपनी अलग पहचान रखता है. सरिस्का में इस समय 16 बाघ और बाघिन है. जिनको देखने के लिए प्रतिदिन हजारों की संख्या में पर्यटक अलवर आते हैं. सरकारी आंकड़े पर नजर डालें तो करीब 50 हजार पर्यटक साल भर में अलवर आते हैं. इनमें विदेशी पर्यटकों की संख्या भी खासी रहती है.
सरिस्का में दिख रहा कोरोना वायरस का प्रभाव लेकिन कोरोना वायरस के चलते इन दिनों सरिस्का में पर्यटकों की संख्या कम हो रही है. दरअसल कोरोना वायरस का प्रभाव चाइना सहित अन्य देशों में भी सामने आ रहा है. जिसके चलते लोग घूमने के लिए नहीं आ रहे हैं. ऐसे में सरिस्का में पर्यटन क्षेत्र से जुड़े हुए लोगों को खासी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है.
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देश की राजधानी दिल्ली और प्रदेश की राजधानी जयपुर के मध्य सरिस्का बाघ परियोजना प्राकृतिक सौंदर्य के चलते दुनिया में विशेष स्थान रखती है. हर साल यहां करीब 50 हजार पर्यटक घूमने के लिए आते हैं. इनमें विदेशी पर्यटकों की संख्या भी ज्यादा रहती है. कोरोना वायरस के संक्रमित मामले मिलने के बाद लोग फिलहाल सहमे हुए हैं.
ज्यादातर लोग फिलहाल पर्यटन स्थलों की सैर से बचने को प्राथमिकता दे रहे हैं. यही कारण है कि पर्यटन स्थलों पर शहर को पहुंचने वाले सैलानियों की संख्या कम हो रही है. सरिस्का घूमने के लिए ऑनलाइन बुकिंग करा चुके कई पर्यटकों ने पिछले दिनों अपनी बुकिंग कैंसिल कराई है.