अलवर. शाहजहांपुर स्थित खेड़ा बॉर्डर पर किसान नए कृषि कानूनों को लेकर विरोध जता रहे हैं. बीते दिनों अचानक देश की विभिन्न शहरों से घड़ों में मिट्टी अलवर पहुंची. इसके बाद रविवार रात किसानों ने शाहजहांपुर बॉर्डर पर हाईवे के बीचों बीच डिवाइडर पर शहीद स्मारक बना दिया. स्मारक बनाने के बाद किसान नेताओं ने कहा कि किसान आंदोलन पर सरकार से पूछ कर नहीं बैठे थे. हमने शहीद स्मारक बना दिया है. सरकार की हिम्मत हो तो हटा देगी.
शाहजहांपुर बॉर्डर पर शहीद स्मारक बनाया गया... स्मारक पर आंदोलन में शहीद हुए हर एक किसान की स्मृति में एक मटकी लगाई जाएगी. सोमवार को स्मारक का विधिवत उद्घाटन किया जाएगा. स्मारक की जानकारी मिलने के बाद देर रात प्रशासन मौके पर पहुंचा और किसानों से बातचीत की. किसानों को समझाने का प्रयास किया जा रहा है, लगातार प्रशासन मौके पर मौजूद है. आंदोलनकारियों ने शनिवार को हाईवे पर किसान शहीद स्मारक बनाने की घोषणा की थी. इसके बाद प्रशासन हरकत में आया.
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रविवार दोपहर अलवर जिला कलेक्टर नन्नूमल पहाड़िया किसान पड़ाव में पहुंचे थे. हालांकि, किसान नेता राजाराम मील को कोरोना होने एवं पूर्व विधायक अमराराम चौधरी के बाहर होने से उनकी प्रमुख नेताओं से बात नहीं हो पाई. इसके चलते कलेक्टर ने एसडीएम नीमराना से रिपोर्ट भी तलब की. इसी बीच रविवार देर रात किसानों ने बॉर्डर पर हाईवे के बीच बने डिवाइडर के ऊपर मिट्टी का शहीद स्मारक बना दिया.
ईंटों की चिनाई कर स्मारक खड़ा कर दिया... इस दौरान प्रशासन के आला अधिकारी बॉर्डर पर मौजूद थे. वो वाहनों की जांच पड़ताल कर रहे थे. कोरोना गाइडलाइन के चलते केवल नेगेटिव रिपोर्ट वाले लोगों को राजस्थान में प्रवेश दिया जा रहा है. ऐसे में प्रशासन रिपोर्ट देखने व वाहनों की जांच पड़ताल में लगा हुआ था. इसी बीच किसानों ने स्मारक बनाकर तैयार कर दिया.