किशनगढ़ (अजमेर). जिस मां ने हाथ पकड़कर चलना सिखाया और अपने पैरों पर खड़ा किया, उसी मां की अर्थी को जब बेटियों ने कंधा देकर विदा किया तो हर किसी की आंखें नम रहीं. मां ने अपनी चारों बच्चियों को पूरी तालीम दिलवाई, आज उसी की वजह से वे सरकारी नौकरी में अच्छे पद पर तैनात हैं. उस मां के पार्थिव शरीर को उनकी लाडली बेटियों ने खुद कंधा देकर अंतिम विदाई दी. यही नहीं श्मशान घाट जाकर बेटी ने ही मुखाग्नि देकर उसका अंतिम संस्कार (Daughters did mother last rites in Ajmer) भी किया. गमगीन माहौल के बीच पुरुष प्रधान समाज के सामने बेटियों ने मां का अंतिम संस्कार स्वयं कर एक उदाहरण पेश कर किया.
किशनगढ़ के अग्रसेन नगर निवासी अजमेर नगर निगम की उपायुक्त सीता वर्मा की मां सायरी देवी दुनिया को अलविदा कह गईं. उन्होंने अजमेर के निजी अस्पताल में अंतिम सांस ली. शायरी देवी की चार पुत्रियां ही हैं. निधन के बाद अंतिम संस्कार की बात आई तो बेटियों ने कहा कि वे ही मां का अंतिम संस्कार करेंगी.