उदयपुर. एक तरफ जहां पूरा देश कोरोना महामारी के खिलाफ जंग लड़ रहा है. वहीं कुछ ऐसे स्थान भी हैं जहां पर केवल अपनों को इस बीमारी से बचाने का प्रयास किया जा रहा है. बता दें कि शहर से सटे बेदला ग्राम पंचायत में सोडियम हाइपोक्लोराइट का छिड़काव किया गया, लेकिन इसी बीच गांव के कुछ लोगों ने सरपंच पर अपने चहेतों के घरों के बाहर ही दवाई छिड़कने का आरोप लगाया. जिसके बाद ग्रामीणों में भारी आक्रोश है.
नेताजी ने सिर्फ समर्थकों के घरों को किया सैनिटाइज गांव के लोगों का कहना है कि हाल ही में हुए पंचायती राज चुनाव में जिन लोगों ने सरपंच को सपोर्ट किया, उन्हीं के घरों के बाहर दवाई छिड़की जा रही है. जो बेहद निंदनीय है. उनका कहना है कि एक तरफ देश के प्रधानमंत्री किसी पार्टी और व्यक्ति विशेष से परे जाकर प्रत्येक नागरिक को इस बीमारी की जद से बाहर निकालना चाहते हैं. वहीं कुछ सेवक अपनी राजनीति करने से नहीं चूक रहे.
ग्राम पंचायत द्वारा किये गए इस तरह के सौतेले व्यवहार की सभी जगह खासी चर्चा है. यही नहीं जब गांंव के लोगों ने ग्राम पंचायत के इस रवैये के बारे में पूछा तो सरपंच ने इसे पहले तो निजी खर्च पर करना बताया. लेकिन जब लोगों ने गाड़ी पर पंचायत के बेनर लगे होने की बात कही तो सरपंच ने गांव में सभी जगह छिड़काव की बात कह कर अपने काम से इतिश्री कर ली.
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इतना ही नहीं गांव के एक जागरूक नागरिक ने जब इस पूरे घटनाक्रम से ग्राम सचिव महेंद्र डाबी को अवगत कराया तो उसने सरपंच और उसके पति नरेश प्रजापत पर राजनीति करने की बात कह डाली. गौरतलब है कि कोरोना जैसी वैश्विक महामारी से सभी को एक जुट होकर लड़ना है, इसलिए देश में 21 दिन का लॉकडाउन किया है. लेकिन कुछ लोग हैं कि इस बीमारी को गंभीरता से ले ही नहीं रहे.