कोटा. सूरत में कोचिंग संस्थान में आगजनी की घटना के बाद कोटा में भी सुरक्षा को लेकर आपदा प्रबंधन की समीक्षा बैठक हुई. जिसमें शैक्षणिक संस्थाओं, हॉस्टल, मॉल, स्कूल और अस्पताल में फायर फाइटिंग सिस्टम की माकूल व्यवस्था करने के निर्देश दिए गए. बैठक में कोटा जिला कलेक्टर मुक्तानंद अग्रवाल, कोटा शहर एसपी दीपक भार्गव के साथ ही शहर के शैक्षणिक संस्थानों, हॉस्टल, मॉल, स्कूल, अस्पताल के संचालकों और उनके प्रतिनिधियों ने संयुक्त चर्चा की.
कोटा में सभी संस्थाओं को फायर सिस्टम दुरुस्त करने के दिए निर्देश, तीन सप्ताह का दिया समय
सूरत में कोचिंग संस्थान में आगजनी की घटना के बाद कोटा में भी सुरक्षा को लेकर आपदा प्रबंधन की समीक्षा बैठक हुई. जिसमें शैक्षणिक संस्थाओं, हॉस्टल, मॉल, स्कूल और अस्पताल में फायर फाइटिंग सिस्टम की माकूल व्यवस्था करने के निर्देश दिए गए.
बैठक में कलेक्टर व सिटी एसपी ने संचालकों और प्रतिनिधियों को सख्त हिदायत देते हुए कहा कि अगले तीन सप्ताह में फायर फाइटिंग सिस्टम को दुरुस्त करें. साथ ही स्टाफ, स्टूडेंट को आग जनित आपदा से निपटने की मॉक ड्रिल कराकर सुरक्षित बचने की ट्रेनिंग दी जाए. वहीं बिल्डिंग में टैंक, ड्रिल व पानी की पर्याप्त व्यवस्था रखें. और इस काम को आगामी 3 सप्ताह में पूरा किया जाए. इसके बाद कलेक्टर व एसपी एक बार फिर आपदा प्रबंधन की समीक्षा बैठक करेंगे.
आपदा प्रबंधन समीक्षा बैठक से पहले नगर निगम के अग्निशमन विभाग से मॉनिटरिंग और निरीक्षण करवाकर संबंधित संस्थानों के फायर फाइटिंग सिस्टम की रिपोर्ट तलब की जाएगी. निरीक्षण में किसी भी संस्थान में कमी पाए जाने पर उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी. समीक्षा बैठक में जिला प्रशासन ने बताया कि शहरवासियों को इन आपदाओं से निपटने के लिए जागरूक किया जाएगा. सिटी एसपी दीपक भार्गव ने कहा कि हमें स्कूली बच्चों को आपदाओं से निपटने की ट्रेनिंग देनी होगी. ताकि आपदा आने पर वह वह उसका सामना करके सुरक्षित रह सके.