जोधपुर. अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान एम्स जोधपुर के सर्जिकल गैस्ट्रोएंटरोलॉजी विभाग में 21 साल की महिला की एक दुर्लभ पित्त की बीमारी का सफल ऑपरेशन रोबोट के जरिए प्रदेश में पहली बार किया गया. जटिल सर्जरी सिर्फ 8 मिमी के छोटे चीरों के माध्यम से की गई.
एम्स अधीक्षक डॉ एमके गर्ग ने बताया कि नोखा निवासी 21 वर्षीय महिला पेट दर्द की शिकायत लेकर आई थी. एम्स में जांच करने पर पता चला कि वह कोलेडोकल सिस्ट बीमारी से पीड़ित थी. यह बीमारी एक लाख लोगों में से एक में होती है. पहले इन मामलों को पेट पर एक लंबे और गहरे चीरे द्वारा ऑपरेशन करने की आवश्यकता होती थी, जो जीवन भर के लिए रहता है. लंबे चीरे के कारण रोगी को दीर्घकलिक जटिलताएं भी हो सकती हैं.
केस की जटिलता और रोबोटिक सर्जरी में एम्स के सर्जिकल गैस्ट्रोएंटरोलॉजी विभाग के अनुभव की वजह से उसे डॉक्टर वैभव कुमार की देखरेख में भर्ती कराया गया. मरीज का ऑपरेशन को कोलेडोकल सिस्टम को काटने और आंतों को वापस जोड़ने का जटिल ऑपरेशन पूरी तरह से रोबोट के जरिए किया गया. इसके अलावा सर्जरी में इंडो-सायनिन ग्रीन (आईसीजी) तकनीक का उपयोग भी किया गया था, जो भारत में बहुत सीमित केंद्रों में उपलब्ध है.