जयपुर.शहर में बुधवार को एक वेबिनार का आयोजन किया गया. इस दौरानउद्योग मंत्री परसादीलाल मीणा ने कहा कि राज्य सरकार प्रदेश में निवेशकों को अनुकूल वातावरण प्रदान करने के लिए बहुआयामी सोच के साथ काम कर रही है. व्यापक नीतिगत सुधारों और नियमों के सरलीकरण के माध्यम से हमने निवेश की राह आसान की है. राजस्थान रिफाइनरी से लगते क्षेत्र में विकसित किए जा रहे पेट्रोलियम केमिकल्स एण्ड पेट्रोकेमिकल्स इन्वेस्टमेन्ट रीजन पीसीपीआईआर के माध्यम से प्रदेश में निवेश और रोजगार के अवसरों की अभूतपूर्व सम्भावनाएं हैं. राजस्थान पेट्रोकेमिकल्स उत्पादों के प्रमुख हब के रूप में विकसित होगा. इस वेबिनार में 19 देशों के उद्यमी और निवेशक जुड़े. उन्होंने कहा कि राजस्थान सरकार और एचपीसीएल की संयुक्त भागीदारी से स्थापित की जा रही 9 एमएमटीपीए क्षमता की रिफाइनरी और सह. पेट्रोकेमिकल कॉम्प्लेक्स से इस क्षेत्र में पेट्रोकेम सेक्टर में बड़े पैमाने पर निवेश आएगा.
बड़े पैमाने पर भूमि का चिन्हीकरण
उद्योग मंत्री ने कहा कि पेट्रोकेम उद्योगों की स्थापना के लिए रीको ने पीसीपीआईआर के प्रथम चरण के लिए बड़े पैमाने पर भूमि का चिन्हीकरण किया है. रिफाइनरी से करीब 17 किलोमीटर की दूरी पर बोरावास गांव में जुलाई माह से भूखण्डों के आवंटन का कार्य शुरू किया जाएगा. साथ ही बाड़मेर एवं जोधपुर जिलों में 16 स्थानों पर करीब 2300 हैक्टेयर भूमि चिन्हित की गई है.
जल्द आएगी नई खनिज नीत
खान मंत्री प्रमोद भाया ने कहा कि राज्य सरकार जल्द ही नई खनिज नीति लाने जा रही है। जिससे निवेश को और अधिक प्रोत्साहन मिलेगा. खनिज खोज के लिए ट्रस्ट की स्थापना की गई है. राजस्थान में देश का 20 प्रतिशत क्रूड उत्पादित हो रहा है. अब पोटाश जैसे महत्वपूर्ण खनिज के खनन की दिशा में हम आगे बढ़े हैं. जल्द ही इसके सकारात्मक परिणाम सामने आएंगे. मुख्यमंत्री के आर्थिक सलाहकार अरविंद मायाराम ने कहा कि पेट्रोकेम सेक्टर से जुड़े प्रमुख ग्लोबल इन्वेस्टर्स का जुड़ना अच्छा संकेत है और यह दर्शाता है कि राजस्थान को पेट्रोकेमिकल्स आधारित उत्पादों का हब बनाने के लिए निवेशक बहुत उत्साहित हैं.