जयपुर.कहते हैं कि, बिना झूलों के सावन अधूरा है. बरसात से खुशनुमा मौसम में हरियाली से लकदक वृक्षों पर डले हिंडोले हर किसी को आकर्षित करते है. ऐसे में भला ठाकुरजी झूलों से कैसे दूर रहें. ऐसे में गोविंद देवजी मंदिर में शनिवार को ठाकुरजी के गर्भगृह में झूला डल गया. सभी सातों झांकियों में ठाकुरजी ने भक्तों को झूले ओर विराजमान भाव से दर्शन दिए. हालांकि कोरोना जैसी महामारी में मंदिर के द्वार भक्तों के लिए बंद हैं. ऐसे में मंदिर की वेबसाइट से ऑनलाइन श्रदालुओं ने रियासतकालीन कलात्मक झूले पर विराजमान गोविंद देवजी और राधाजी को भक्तों ने अपलक निहारा.
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मंदिर के प्रवक्ता मानस गोस्वामी ने बताया कि, मंदिर के महंत अंजन कुमार गोस्वामी के सानिध्य में ठाकुरजी का पंचामृत अभिषेक कर आकर्षक लहरिया पोशाक धारण कराई गई. इसके साथ ही ठाकुरजी को विभिन्न व्यंजनों का भोग भी लगाया गया. वहीं मंदिर में झूला झांकी पर विराजमान ठाकुरजी की झांकी रक्षाबंधन तक सजाई जाएगी. वहीं मंगला और शयन झांकी में ही ठाकुरजी धोती में नजर आएंगे और बाकी अन्य झांकियों में प्रतिदिन अलग-अलग रंग की लहरिया पोशाक धारण करेंगे.