जयपुर. सीएस उषा शर्मा के निर्देशों वाले परिपत्र (CS Usha Sharma Annoyed Over Transfers) को प्रशासनिक सुधार विभाग ने जारी किया है. इस परिपत्र में (Rajasthan CS strict on transfers) साफ तौर पर मनमानी पोस्टिंग पर नकेल कसने की बात है.
हिदायत दी गई है कि मनचाही जगह पर पोस्टिंग कराने लिए जो अनुचित रास्ते निकाले जा रहे हैं वो अब नहीं चलेंगे. पता चल रहा है कि तबादलों पर रोक संबंधी नियमों की पालना के निर्देशों को नहीं माना जा रहा है. अब ऐसा हुआ तो संबंधित विभाग के मुखिया यानी एचओडी को जिम्मेदार (Onus Of Transfer On HOD) माना जाएगा और उनकी ही जवाबदेही तय होगी.
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जरूरत क्यों?: दरअसल, रोक के बावजूद मनचाही और मनमानी पोस्टिंग को लेकर शिकायतें आ रही थीं. प्रशासनिक सुधार विभाग ने इस पूरे मामले को मुख्य सचिव के समक्ष रखा. मुद्दे को गंभीर मानते हुए सीएस उषा शर्मा ने सर्कुलर जारी किया. एआरडी ने परिपत्र जारी करते हुए सभी विभागों के एचओडी को इसकी पालना सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं.
परिपत्र के मुख्य बिंदु:परिपत्र (Circular Issued By Administrative Department On Transfers) में कहा गया है कि 30 सितंबर 2022 के बाद से प्रदेश के कर्मचारियों और अधिकारियों के तबादलों पर रोक लगा दी गई है , लेकिन कुछ विभाग इस अवधि के बाद भी तबादले कर रहे हैं. इसको देखते हुए विभागों के अतिरिक्त मुख्य सचिवों/ प्रमुख सचिवों/ सचिवों और एचओडी को निर्देश जारी किया जाता है कि रोक के बावजूद अति आवश्यक हालात में विभागों को तबादले करने हों तो उन हालात का उल्लेख करते हुए प्रस्ताव एआरडी के जरिए भिजवाया जाए. परीक्षण होने पर सक्षम स्तर की अनुमति के बाद ही तबादले आदेश किए जाएं.
परिपत्र में कहा गया है कि आदेशों का उल्लंघन का कोई प्रकरण यदि अब सामने आया तो इसका उत्तरदायित्व संबंधित विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव , प्रमुख सचिव या सचिव का होगा.