जयपुर. राजनीति में दिलचस्पी रखने वाले लोगों की नजर इस वक्त राजस्थान की सियासत पर टिकी हुई है. इसलिए अहम है कि कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी राजस्थान दौरे पर आ रहे हैं और ये दौरा प्रदेश कांग्रेस के भविष्य की राह को काफी कुछ तय करेगा. पिछले दिनों सचिन पायलट गुट के बगावत के बाद अब भी पार्टी असंतोष और गुटबाजी की छाया से गुजर रही है. ऐसे वक्त में राहुल गांधी का राजस्थान आना सचिन पायलट के साथ मंच साझा करना और अशोक गहलोत के राज वाले प्रदेश में जनसभाएं करना इस बात का संकेत है कि आलाकमान राजस्थान की राजनीति को अब हल्के में नहीं लेना चाहता है.
दरअसल, मौजूदा दौर में परंपरागत ग्रामीण वोट बैंक कांग्रेस से छिटका है. किसान वर्ग को लेकर कांग्रेस पहले से ही चिंता के दौर से गुजर रही है. ऐसे में किसान सम्मेलन के जरिए वोट बैंक के साथ-साथ आंदरूनी सियासत को साधने की कोशिश राहुल गांधी करेंगे. इस दौरे में सचिन पायलट की भूमिका पर सबकी निगाह टिकी रहेगी. जाहिर है कि पार्टी के प्रदेश प्रभारी अजय माकन के साथ राहुल गांधी के दौरे की तैयारियों का जायजा लेने के लिए सचिन पायलट भी जा रहे हैं.
यह भी पढ़ेंःकृषि कानूनों से देश का किसान अपनी जमीन और अपने ही खेत पर गुलाम बन जाएगा: पायलट
कांग्रेस नेता राहुल गांधी के इस 2 दिवसीय राजस्थान के प्रस्तावित दौरे को लेकर सियासी हलकों में कई सरगर्मियां परवान पर हैं. चर्चाओं के बीच सबकी नजर राहुल गांधी से सचिन पायलट की मुलाकात पर टिकी हुई है. राजस्थान कांग्रेस में असंतोष के प्रकरण के बाद यह पहला मौका होगा जब राहुल गांधी सचिन पायलट से मुलाकात करेंगे और यह वह वक्त है जिस दौर में सचिन पायलट राजस्थान की कांग्रेस में खुद को स्थापित करने के लिए शक्ति प्रदर्शन के बीच किसान सभाएं कर रहे हैं. ऐसे में किसान महापंचायत और महा सम्मेलन के जरिए पायलट राहुल गांधी के नजदीक आकर स्थानीय कांग्रेस नेताओं को संकेत देने की कोशिश करेंगे.
बता दें, कांग्रेस के पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गांधी 12 और 13 फरवरी को राजस्थान दौरे पर रहेंगे. 12 फरवरी को राहुल गांधी पीलीबंगा और पदमपुर में किसान महापंचायत को संबोधित करेंगे. वही, 13 फरवरी को राहुल गांधी अजमेर के किशनगढ़ में किसान सम्मेलन और रुपनगढ़ में ट्रैक्टर रैली और नागौर के परबतसर और मकराना में किसान सम्मेलन करेंगे. राहुल गांधी का यह दौरा राजस्थान में कांग्रेस पार्टी के किसानों के प्रति समर्थन को तो दिखा ही रहा है, लेकिन इसके साथ ही राजस्थान में राहुल गांधी के इस दौरे के कई राजनीतिक मायने भी हैं.
राहुल गांधी के इस दौरे को लेकर सबसे बड़ी राजनीतिक घटना पर हर किसी की नजर है तो वह है राहुल गांधी के दौरे में सचिन पायलट को मिलने वाली जगह पर. दरअसल, अब यह तो तय हो गया है कि सचिन पायलट राहुल गांधी की सभा में पदमपुर और पीलीबंगा भी जाएंगे, तो वहीं अजमेर और नागौर में होने वाली सभाओं और ट्रैक्टर रैली में भी मौजूद रहेंगे, लेकिन अब हर किसी की नजर है कि सचिन पायलट इस पूरे दौरे में राहुल गांधी के साथ कहां बैठते हैं.
यह भी पढ़ेंःलोकतंत्र में किसान की बात उठाना कोई गुनाह नहीं, ...सभी को किसानों का समर्थन करना चाहिए : पायलट
दरअसल, पंजाब में जो ट्रैक्टर रैली राहुल गांधी ने निकाली थी, उसमें मुख्यमंत्री और प्रदेश अध्यक्ष को ही जगह मिली थी, तो अब राजस्थान में जब ट्रैक्टर रैली होगी तो ट्रैक्टर पर क्या सचिन पायलट को प्रदेश अध्यक्ष गोविंद डोटासरा, मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और अजय माकन के बीच क्या स्थान मिल पाएगा और अगर मिलेगा भी तो किस पद के अनुसार, इस बात को लेकर राजस्थान में चर्चाओं का बाजार गर्म है. वहीं, सभा में भी सचिन पायलट को कहां बैठाया जाता है इस पर भी हर किसी की नजरें रहेंगी.