जयपुर. राजस्थान हाईकोर्ट ने माना है कि शराब की दुकानों पर सोशल डिस्टेंसिंग बनाए रखने के लिए सरकार की ओर से कदम उठाए गए हैं. इसके अलावा इन दुकानों पर भीड़ एकत्रित होने की कोई शिकायत भी नहीं आई है. ऐसे में शराब की दुकानों को बंद करने को लेकर अब कोर्ट को दखल देने की जरूरत नहीं है. इसके साथ ही अदालत ने इस संबंध में दायर याचिकाओं को खारिज कर दिया है. मुख्य न्यायाधीश इंद्रजीत महान्ती और न्यायाधीश सतीश कुमार शर्मा की खंडपीठ ने यह आदेश निखिलेश कटारा व अन्य की याचिकाओं को खारिज करते हुए दिए. अदालत ने अपने आदेश में यह भी कहा है कि समान मामले में सुप्रीम कोर्ट में याचिका खारिज कर चुका है.
याचिकाओं में कहा गया कि केंद्र सरकार ने एकल दुकानों और आबादी क्षेत्र में दुकानें खोलने के निर्देश दिए थे. इसके बावजूद राज्य सरकार ने रेड जोन एरिया सहित अन्य बाजारों में शराब की दुकानें खोलने की अनुमति दे दी. इन दुकानों पर सोशल डिस्टेंसिंग का पालन भी नहीं किया जा रहा है. जिसके चलते महामारी के संक्रमण का खतरा काफी बढ़ गया है. ऐसे में महामारी समाप्त होने तक शराब की दुकानों को बंद रखा जाए.