जयपुर.राज्य बजट में घोषित सड़क निर्माण और मरम्मत के तीन सदस्यीय अधिकारियों की समिति में विधायक को शामिल नहीं करने का मामला मंगलवार को विधानसभा में गूंजा. नेता प्रतिपक्ष गुलाबचंद कटारिया (Opposition Leader Gulabchand Kataria raised questions) ने यह मामला सदन में उठाते हुए सरकार पर विधायकों की अनदेखी का आरोप लगाया. इस दौरान कटारिया ने अधिकारियों को राजा हरिश्चंद्र की संतान बता दिया तो राठौड़ ने यह कह दिया कि आज 'जन' तो बेकार हो गया और तंत्र मजबूत हो रहा है.
सदन में यह मामला शून्यकाल में स्थगन के जरिए कटारिया ने उठाया और आसन पर मौजूद विधानसभा अध्यक्ष डॉ सीपी जोशी से इस मामले में विधायकों को संरक्षण और सुरक्षा देने की मांग की. कटारिया ने कहा कि बजट में मुख्यमंत्री ने सड़कों की मरम्मत पर सड़क और मिसिंग लिंक के लिए हर विधानसभा में 10 करोड़ की राशि तो स्वीकृत कर दी. लेकिन 10 मार्च को प्रमुख शासन सचिव ने एक आदेश निकाला और इस राशि से जिन सड़कों की रिपेयरिंग और निर्माण कराना है उसके चयन के लिए 3 सदस्य कमेटी बना दी. कटारिया ने कहा कमेटी में जिला कलेक्टर, अधीक्षण अभियंता सहित तीन अधिकारियों को शामिल किया गया है, लेकिन विधायक को इसमें शामिल नहीं किया गया.
कटारिया ने कहा कलेक्टर को तो अपने जिले के सभी गांव के नाम तक नहीं मालूम होंगे. जबकि विधायक जनप्रतिनिधि होता है और वो अपने क्षेत्र की जानकारी रखता है. उसी के आधार पर सड़कों के लिए प्रस्ताव देता है जबकि काम तो विभाग और अधिकारियों को ही करना पड़ता है. बावजूद इसके इस कमेटी में विधायकों को शामिल नहीं करके उनका अपमान किया गया है. कटारिया ने कहा इस आदेश से ऐसा लगता है कि हम जनप्रतिनिधि तो बायस्ड हैं और इन 'राजा हरिश्चंद्र की संतान' के प्रस्ताव सही होंगे. कटारिया ने यह भी साफ कर दिया कि हम इसे हरगिज बर्दाश्त नहीं करेंगे.