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ईटीवी भारत ने दिखाई निगम स्कूलों की हकीकत, अब प्रशासन लेगा सुध - Pink City School

हवामहल पश्चिम के पिंक सिटी स्कूल की हकीकत सामने आने के बाद निगम प्रशासन हरकत में आया है. नगर निगम प्रशासन ने भी माना है कि उनके स्कूलों में बच्चों के बैठने की ना तो उचित व्यवस्था है और ना ही वहां मूलभूत सुविधाएं हैं. ऐसे में इन स्कूलों का फिजिकल निरीक्षण करा कर व्यवस्थाओं को दुरुस्त करने के लिए एस्टीमेट तैयार कराया जा रहा है.

पिंक सिटी स्कूल की हकीकत, Pink city school reality
पिंक सिटी स्कूल की हकीकत

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Published : Dec 27, 2019, 7:04 PM IST

Updated : Dec 27, 2019, 8:10 PM IST

जयपुर.नगर निगम ने सफाई कर्मचारियों और चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों के बच्चों के लिए शहर में पांच पिंक सिटी स्कूल तो खोले, लेकिन उनकी सुध नहीं ली. अनुसूचित जाति बाहुल्य क्षेत्रों में एक समय में 21 स्कूल शुरू किये गए थे. लेकिन आज महज पांच ही बचे हैं. आलम ये है कि इन स्कूलों में भी छात्रों के बैठने के लिए कुर्सी-टेबल, पढ़ने के लिए ब्लैक बोर्ड, रोशनी के लिए बिजली, यहां तक कि पीने के लिए पानी तक उपलब्ध नहीं है.

नगर निगम पिंक सिटी स्कूल के लिए बना रहा एस्टीमेट

जयपुर नगर निगम की ओर से शहर के हवामहल पश्चिम के पिंक सिटी स्कूल की ऐसी ही हकीकत ईटीवी भारत ने जगजाहिर की. जिसके बाद प्रशासन इनकी सुध लेने पहुंचा. इस संबंध में निगम प्रशासक विजय पाल सिंह ने बताया कि निगम की ओर से संचालित सभी पांचों स्कूल का फिजिकली निरीक्षण करवाया गया है.

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विजय पाल सिंह ने बताया कि अब इंफ्रास्ट्रक्चर और पानी-बिजली जैसी व्यवस्थाओं का एस्टीमेट तैयार कराया जा रहा है. जल्द इस क्रम में काम शुरू कर स्कूलों को व्यवस्थित किया जाएगा. बता दें कि 1956 में जिन स्कूलों को शुरू किया गया, उनकी हालत बद से बदतर है. निगम प्रशासक ने भी माना है कि यहां सुविधाओं का अभाव है.

Last Updated : Dec 27, 2019, 8:10 PM IST

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