जयपुर.प्रवासी राजस्थानियों की घर वापसी को लेकर मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने लगातार प्रयास किया कि उनकी प्रदेश में घर वापसी हो जाए. इसे लेकर अब राजस्थान के प्रवासी लोगों का वापस आना शुरू हो गया है. गुजरात के अलग-अलग जिलों से अब तक करीब 2 हजार प्रवासी वापस आ गए हैं. ये सभी वो प्रवासी हैं, जो गुजरात के विभिन्न जिलों में मजदूरी का काम करते थे. इन सभी को रजिस्ट्रेशन के बाद स्क्रीनिंग करके अपने जिलों में भेज दिया गया है.
गुजरात से 2 हजार राजस्थानी पहुंचे प्रदेश में... इनमें से करीब 15 सौ प्रवासी राजस्थान में बांसवाड़ा और सिरोही पहुंच गए हैं. प्रवासी राजस्थानी जो वापस राजस्थान आना चाहते हैं और दूसरे राज्यों के वे लोग जो राजस्थान में अटके हुए हैं और अपने प्रदेश में जाना चाहते हैं. वे अपना रजिस्ट्रेशन ई-मित्र पर करवा सकते हैं. अब तक करीब ढाई लाख मजदूरों, प्रवासी राजस्थानियों ने अपना रजिस्ट्रेशन करवा दिया है. इनमें राजस्थान लौटने वाले और दूसरे राज्यों के लोग जो राजस्थान में फंसे हैं, दोनों शामिल हैं.
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दूसरे राज्यों से राजस्थान में आने वाले मजदूरों प्रवासी राजस्थानियों को पहले अपनी स्क्रीनिंग करवानी होगी और जो मजदूर प्रवासी 14 दिन का क्वारेंटाइन पूरा कर चुके होंगे. उन्हें सीधे उनके घरों को भेज दिया जाएगा. लेकिन जो लोग बिना क्वारेंटाइन पूरे किए दूसरे राज्यों से राजस्थान में प्रवेश करेंगे, उन्हें पहले 14 दिन क्वारेंटाइन में रहना होगा. इसके लिए सिरोही और जालौर के कलेक्टर ने तो पहले यह आदेश जारी कर दिए थे कि गुजरात के हॉट-स्पॉट के प्रवासी राजस्थानी को आने की अनुमति न दी जाए. वहीं जो लोग अपनी निजी गाड़ियों से आ रहे हैं, उन्हें भी अनुमति न दी जाए. जिसे बाद में संशोधित कर लिया गया है और नए आदेशों के अनुसार जिन्होंने अन्य राज्यों में 14 दिन का क्वारेंटाइन समय पूरा कर लिया है. उन्हें अपने घरों में भेज दिया जाएगा. लेकिन जिन्होंने क्वारेंटाइन समय पूरा नहीं किया है, उन्हें पहले 14 दिन क्वॉरेंटाइन टाइम में रहना होगा.
प्रवासी राजस्थानी करीब 35 हजार हैं प्रवासी राजस्थानी को तो राजस्थान आने का प्रयास शुरू हो चुका है और अब तक कुल मिलाकर ढाई लाख लोगों ने राजस्थान लौटने या फिर राजस्थान से अपने प्रदेशों में लौटने का आवेदन किया है. राजस्थान में करीब 35 हजार उन लोग का रजिस्ट्रेशन हुआ है, जो दूसरे राज्यों से राजस्थान में मजदूरी या अन्य काम से रहते हैं और अब वापस लौटना चाहते हैं. इनमें से सबसे ज्यादा 17 हजार मध्य प्रदेश के लोग हैं, 7 हजार उत्तर प्रदेश के लोग हैं. वहीं 4500 लोग बिहार के हैं. मध्य प्रदेश के 10 हजार लोगों को वापस भेज दिया गया है. उत्तर प्रदेश के जवाब का इंतजार है तो वहीं बिहार पश्चिम बंगाल अपने लोगों को वापस लेने को लेकर कोई चर्चा नहीं की है.
मंत्री बोले- जिन अधिकारियों को लगाया गया है काम पर, उन अधिकारियों के मोबाइल नंबर हमेशा रहे चालू...
बाहर से आ रहे प्रवासी राजस्थानी लोगों की घर वापसी को लेकर मंत्री रमेश मीणा ने कहा की जो आदेश सिरोही और जालोर कलेक्टर की ओर से निकाला गया था. उसने संशोधन कर दिया गया है. इसके साथ ही उन्होंने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत से यह अपील भी की है कि जिन अधिकारियों को इस काम पर लगाया गया है और जिनके मोबाइल नंबर और ई-मेल जारी किए गए हैं. उन अधिकारियों के फोन हमेशा चालू रहना चाहिए. ताकि लोगों को किसी परेशानी का सामना ना करना पड़े.