जयपुर. राजधानी के भीतर भी गायों में लंपी वायरस का प्रकोप बढ़ता जा रहा है. निगम की ओर से हिंगोनिया गौशाला पकड़ कर ले जाई जा रही निराश्रित गायों में हर दिन 20 से 25 गाय लंपी वायरस से संक्रमित (Lumpy Virus in Jaipur) मिल रही हैं. इनमें से तकरीबन दो से तीन की मौत भी हो रही है. हालांकि गौशाला में तैनात वरिष्ठ डॉक्टर इसे लंपी की बजाए पॉलिथीन खाने से मौत का नाम दे रहे हैं. उधर, संसाधनों के अभाव और हर दिन मिल रही शिकायतों को मद्देनजर रखते हुए ग्रेटर निगम उपमहापौर ने नगर निगम को विशेष टीम का गठन कर गौशाला में आइसोलेशन सेंटर में समुचित उपचार की व्यवस्था करने के लिए नोटशीट चलाई है.
लंपी से संक्रमित गायों को अलग रखा जाए: जयपुर की सबसे बड़ी हिंगोनिया गौशाला को सरकार ने डायरेक्शन दिए हैं कि लंपी से बीमार गायों को अलग रखा जाए. ऐसे में लंपी से संक्रमित गायों को बाड़ा नंबर 11 में रखा जा रहा है. लेकिन यहां गोवंश की बढ़ती संख्या और उसके अनुसार व्यवस्था नहीं होने के चलते परेशानी भी आ रही है. वर्तमान में हिंगोनिया गौशाला में करीब 15 हजार गायों को रखने की व्यवस्था है. लेकिन इस समय करीब 14 हजार 500 गोवंश गौशाला में मौजूद है. वहीं जयपुर शहर से हर दिन तकरीबन 70 निराश्रित गाय गौशाला में पहुंचाई जा रही है. इनमें से 20 से 25 गायों में लंपी वायरस देखा जा रहा है. गौशाला का काम देख रही अक्षय पात्र ट्रस्ट से जुड़े एक सूत्र ने बताया कि यहां 19 अगस्त से लंपी संक्रमित गायों को आइसोलेट करने की व्यवस्था की गई. लेकिन शहरों से जो गाय यहां लाई जा रही हैं, उनकी हालत बेहद खराब रहती है और तकरीबन 2 से 3 गाय हर दिन इस संक्रमण का शिकार भी हो रही है.
पढ़ें:Lumpy in Rajasthan: जयपुर में 44 हजार से अधिक गायें संक्रमित, 1660 की मौत...4.5 फीसदी वैक्सीनेटेड