जयपुर. रोशनी के पर्व दीवाली पर धन की देवी मां लक्ष्मी और गणेश जी की पूजा की जाती है. इस दिन देवी लक्ष्मी की विशेष आराधना की जाती है. लेकिन दीवाली के दिन विद्यार्थी वर्ग भ्रमित रहता है कि वे मां लक्ष्मी की पूजा करे या फिर मां सरस्वती की. क्योंकि ऐसा माना जाता है कि मां लक्ष्मी और सरस्वती दोनों हमेशा विपरीत दिशा में रहती हैं. मां लक्ष्मी धन की देवी हैं और मां सरस्वती ज्ञान की देवी.
अगर आप भी स्टूडेंट हैं और आप भी ऐसा सोच रहे हैं तो घबराए मत. दीवाली पर मां लक्ष्मी के साथ मां सरस्वती और गणेश जी की पूजा एक साथ की जा सकती है. स्टूडेंट्स दीवाली के दिन मां सरस्वती से ज्ञान के लिए और मां लक्ष्मी से धन के लिए पूजा-अर्चना कर सकते हैं.
दीवाली पर धन की देवी के साथ ज्ञान की देवी सरस्वती को भी कर सकते हैं प्रसन्न पंडित दामोदर प्रसाद शर्मा ने बताया कि दीवाली वाली पूजा में लक्ष्मी के साथ सरस्वती और गणपति भी विराजमान होते हैं. सरस्वती ज्ञान की देवी हैं और गणपति बुद्धि के देवता. इन तीनों को साथ में पूजने का योग हमें बुद्धि से काम करने का संकेत देता है. अगर हम लक्ष्मी की कृपा पाना चाहते हैं तो हमें ज्ञान और बुद्धि से काम करना चाहिए.
पढ़ें- अयोध्या में दीपोत्सव बनाएगा विश्व रिकॉर्ड, जानिए क्या है खास तैयारी
जब हम ज्ञान और बुद्धि के अनुसार काम करते हैं तो धन की प्राप्ति होती है. इसलिए इन तीनों को एक साथ पूजना शुभ माना गया है. ऐसे ही दीवाली पर धन की देवी को पूजना अवश्यक माना बताया गया है. धन आए तो उसे अपने ज्ञान से संभालना चाहिए और बुद्धि के उपयोग से उसे निवेश करना चाहिए, ताकि वह बढ़ता रहे. इससे लक्ष्मी का स्थाई निवास होता है. इसलिए दीपावली पर तीनों की साथ मूर्ति या चित्र की पूजा करने की परंपरा है. स्टूडेंट्स भी अपने परिवार के साथ तीनों देवी-देवताओं की पूजा एक साथ कर सकते हैं.