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गांव-ढाणी में भी घर-घर नल का कनेक्शन जल्द से जल्द पहुंचाना चाहिए: सीएम गहलोत

मुख्यमंत्री आवास पर वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए सीएम गहलोत ने पेयजल और जल संसाधन विभाग की समीक्षा (CM Gehlot review meeting of water supply department) बैठक की. इस दौरान जलापूर्ति समस्याओं को दूर करने को लेकर उन्होंने दिशा-निर्देश दिए.

CM Gehlot meeting in Jaipur
सीएम गहलोत ने ली बैठक

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Published : Mar 6, 2022, 10:49 PM IST

जयपुर.प्रदेश के गांव-ढाणी तक घर-घर नल से जल पहुंचाने के लिए अधिकारी इस दिशा में पूरी तत्परता के साथ काम करते हुए जल परियोजनाओं को समय पर पूरा करें ताकि आमजन को राहत मिले और देरी के चलते परियोजनाओं की लागत भी न बढ़े. रविवार को पेयजल और जल संसाधन विभाग की समीक्षा बैठक को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने अफसरों को यह निर्देश दिए.

मुख्यमंत्री आवास पर वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए की गई समीक्षा बैठक (CM Gehlot review meeting of water supply department) में उन्होंने कहा कि विगत तीन वर्षों में की गई बजट घोषणाओं और इस वर्ष की गई घोषणा को टाइमलाइन में पूरा किया जाए. मुख्यमंत्री ने कहा कि आगामी गर्मी के मौसम को देखते हुए अधिकारी पेयजल आपूर्ति की तमाम व्यवस्थाएं पहले से ही सुनिश्चित करें. सभी जिलों में आवश्यकताओं का आकलन कर कंटीन्जेंसी प्लान के आधार पर तत्काल जल स्रोतों की वैकल्पिक व्यवस्था सुनिश्चित की जाए.

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मुख्यमंत्री ने कहा कि हर घर नल से जल पहुंचाने की योजना जल जीवन मिशन को सर्वोच्च प्राथमिकता देते हुए इससे संबंधित पेयजल परियोजनाओं का काम समय पर पूरा करने का प्रयास किया जाए. गहलोत ने कहा कि मुख्यमंत्री राजनीर योजना के तहत प्रदेश के शहरी क्षेत्रों में स्मार्ट मीटर लगाने की योजना का परीक्षण कर इसे प्रभावी ढंग से लागू किया जाए. उन्होंने कहा कि प्रत्येक विधानसभा क्षेत्र में हैण्डपंप व नलकूप लगाने के लिए बजट प्रावधान किया गया है. इसके लिए जिला कलेक्टर की अध्यक्षता में विभाग के अधीक्षण अभियंता और संबंधित अधिशासी अभियंता की कमेटी बनाकर हैण्डपंप, नलकूप लगाने के लिए उचित स्थानों का निर्धारण किया जाए.

इस मौके पर जलदाय मंत्री महेश जोशी ने कहा कि विभाग जल जीवन मिशन के साथ ही अन्य परियोजनाओं को समय पर पूरा करने की दिशा में टाइम बाउण्ड फ्रेम में कार्य कर रहा है. हमारा प्रयास है कि प्रदेश के गांव-ढाणी तक लोगों को पेयजल के लिए परेशानी का सामना नहीं करना पड़े. जल संसाधन मंत्री महेन्द्रजीत सिंह मालवीय ने कहा कि नई पेयजल परियोजनाओं को सतही जल उपलब्ध कराने के लिए विभाग जल स्रोत विकसित करने के लिए प्रभावी रूप से काम कर रहा है.

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जल जीवन मिशन की लघु योजनाओं में 90 प्रतिशत के कार्यादेश जारी
अतिरिक्त मुख्य सचिव जलदाय सुधांश पंत ने बताया कि गर्मी को देखते हुए सभी जिला कलेक्टरों को कंटीजेन्सी कार्यों के लिए 50-50 लाख रुपए उपलब्ध करा दिए गए हैं ताकि आकस्मिक आवश्यकताओं को देखते हुए हैण्डपप मरम्मत, टैंकरों से जल आपूर्ति, नए नलकूप खोदने आदि कार्य तत्काल किए जा सकें. उन्होंने बताया कि जल जीवन मिशन में स्वीकृत 9,766 परियोजनाओं में से 8,902 योजनाओं की तकनीकी स्वीकृतियां जारी हो चुकी हैं और 5,746 योजनाओं के कार्यादेश भी जारी हो गए हैं.

उन्होंने बताया कि लघु पेयजल योजनाओं में 90 प्रतिशत से अधिक के कार्यादेश इसी माह तक जारी हो जाएंगे. करीब 80 प्रतिशत योजनाओं का काम दिसम्बर 2022 तक पूरा होना लक्षित है. जल जीवन मिशन के तहत 43 हजार 267 ग्राम पेयजल एवं स्वच्छता समितियों का गठन कर लिया गया है और 43 हजार 208 गांवों का एक्शन प्लान भी तैयार हो चुका है. बैठक में जलदाय राज्य मंत्री अर्जुन सिंह बामनिया, मुख्य सचिव ऊषा शर्मा, जल संसाधन विभाग के शासन सचिव डॉ. पृथ्वी राज सहित जलदाय और जल संसाधन विभाग के वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे.

स्काउट पदाधिकारियों ने मुख्यमंत्री का व्यक्त किया आभार
वहीं रविवार को प्रदेश स्काउट गाइड संगठन के पदाधिकारी स्टेट चीफ कमिश्नर निरंजन आर्य की अगुवाई में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत का अभिनंदन किया गया. मुख्यमंत्री निवास पर पहुंचे इन पदाधिकारियों ने राज्य बजट में की गई घोषणा के लिए मुख्यमंत्री का पुष्पगुच्छ भेंट कर और स्काउट स्कार्फ पहनाकर अभिनन्दन किया.

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