SPECIAL: समय पर नहीं लगे टीके तो बच्चों पर गहरा सकता है गंभीर बीमारियों का संकट - children vaccination affected by corona
कोरोना वायरस के प्रकोप के चलते अब परिजन अस्पतालों में अपने बच्चों का टीकाकरण करवाने नहीं पहुंच रहे हैं. ऐसे में कई बच्चे टीके से वंचित रह जाएंगे. जिसके चलते बच्चों पर अन्य गंभीर बीमारियों का संकट मंडराने लगा है. पढ़ें पूरी खबर..
कोरोना का असर बच्चों के टीकाकरण पर भी पड़ रहा है
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Published : May 9, 2020, 5:55 PM IST
जयपुर. कोरोना का असर बच्चों के टीकाकरण अभियान पर भी पड़ा है. कोरोना संकट के बाद प्रदेश में लगाए गए लॉकडाउन के दौरान अस्पतालों में बच्चों को लगाए जाने वाले टीकों में कमी आई है. ऐसे में कोरोना संकट के बाद टीकाकरण से वंचित रहे बच्चों को गंभीर बीमारियां घेर सकती है.
कोरोना का असर बच्चों के टीकाकरण पर भी पड़ रहा है
जयपुर के जेके लोन अस्पताल के अधीक्षक डॉ. अशोक गुप्ता ने बताया कि मार्च और अप्रैल माह में टीकाकरण में बड़ी गिरावट देखने को मिली है, क्योंकि परिजन अपने बच्चों को टीकाकरण के लिए अस्पताल नहीं लेकर आ रहे. परिजनों को डर है कि यदि भी अस्पताल पहुंचे, तो शायद कोरोना से संक्रमित न हो जाए.
जेके लोन अस्पताल द्वारा जारी किए गए आंकड़ों के अनुसार जनवरी और फरवरी माह के बाद मार्च और अप्रैल महीने में टीकाकरण में बड़ी संख्या में गिरावट दर्ज की गई है. ऐसे में डॉ. अशोक गुप्ता का कहना है कि भले ही परिजन अभी कोरोना के चलते बच्चों को टीकाकरण के लिए नहीं लेकर आ रहे हो. लेकिन यदि बच्चे टीकाकरण से वंचित रह गए, तो भविष्य में वह गंभीर बीमारियों से ग्रस्त हो सकते हैं.
डॉ. गुप्ता का कहना है कि टीकाकरण में कुछ टीके ऐसे हैं. जो बच्चों को जानलेवा बीमारियों से बचाते हैं. लॉकडाउन से पहले तो परिजन अपने बच्चों को टीकाकरण केंद्र पर ला रहे थे. लेकिन लॉकडाउन के बाद इसमें कमी दर्ज की गई है.
जेके लोन अस्पताल कोरोना से सुरक्षित
अस्पताल के अधीक्षक डॉ. अशोक गुप्ता ने बताया कि जयपुर का जेके लोन अस्पताल कोरोना वायरस संक्रमण से मुक्त है, क्योंकि किसी भी कोरोना वायरस संक्रमित मरीज को अस्पताल में भर्ती नहीं किया गया है. बल्कि पॉजिटिव आने के बाद अस्पताल में सवाई मानसिंह अस्पताल में एक अलग से बच्चों के लिए कोरोना वार्ड तैयार किया है. जहां बच्चों का इलाज चल रहा है.
बच्चों के ऊपर गंभीर बीमारियों का संकट
ऐसे में अस्पताल के अधीक्षक ने परिजनों से अपील की है और कहा है कि वह अस्पताल में अपने बच्चों को टीकाकरण के लिए अवश्य लेकर आएं, ताकि भविष्य में होने वाली गंभीर बीमारियों से उन्हें बचाया जा सके.
वहीं प्रदेश के आंकड़ों की बात की जाए, तो मार्च और अप्रैल माह में प्रदेश के करीब छह लाख बच्चे टीकाकरण से वंचित रहे हैं. जन स्वास्थ्य अभियान की सदस्य छाया पचौरी ने जानकारी देते हुए बताया कि उन्होंने राजस्थान के 30 गांव का सर्वे किया. जहां सामने आया कि सिर्फ मार्च माह में ही 30 गांव के अंदर 250 बच्चों को ही नियमित टीका लगा.
बच्चों का टीकाकरण करवाने के लिए माता-पिता नहीं पहुंच रहे अस्पताल
नीचे दिए गए आंकड़ों से जानें किस महिने में कितने बच्चों का टीकाकरण हुआ
टीका
जनवरी
फरवरी
मार्च
अप्रैल
BCG
30
23
16
7
OPV
30
23
16
7
HEP.B
0
5
0
4
pentavalent
204
180
103
54
ROTA
204
180
103
54
OPV
204
180
103
54
FIPV
180
180
103
54
PCV
200
180
103
54
booster
83
63
55
6
MR
114
91
53
7
vitamin A
114
91
53
7
DPT
147
161
85
7
TD
20
14
4
0
जयपुर के जेके लोन अस्पताल के आंकड़ों से पता चलता है कि जिस तरह जनवरी और फरवरी माह में लगातार अस्पताल में टीकाकरण किया जा रहा था. लेकिन मार्च और अप्रैल माह में एकाएक इसमें बड़ी गिरावट देखने को मिली. खासकर मार्च महीने में टीकाकरण 5% तक ही रह गया है.