जयपुर.राज्यसभा चुनाव में जहां पहले कांग्रेस की ओर से विधायकों की खरीद-फरोख्त के आरोप लगे. तो वहीं, मुख्य सचेतक महेश जोशी ने इन आरोपों को एसीबी, एसओजी और एटीएस में जांच के लिए लिखा, लेकिन अब जब राज्यसभा चुनाव संपन्न हो चुके हैं और कांग्रेस के दोनों प्रत्याशी चुनाव जीत चुके हैं तो भी आरोप प्रत्यारोप का सिलसिला जारी है.
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भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष सतीश पूनिया ने कांग्रेस पर ये आरोप लगाकर हर किसी को चौंका दिया कि बाड़ेबंदी में गए 23 विधायकों को खान आवंटन, रिको में प्लॉट आवंटन या फिर कैश ट्रांसफर हुआ है. अब इन आरोपों को लेकर सतीश पूनिया के खिलाफ निर्दलीय विधायक संयम लोढ़ा ने एक और विशेषाधिकार हनन का मामला विधानसभा में पेश किया है.
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वहीं दूसरी ओर राजस्थान विधानसभा के मुख्य सचेतक महेश जोशी ने कहा कि सतीश पूनिया ने जो दावा किया है उसे वह सिद्ध करें. क्योंकि जिस तरीके से वो 23 विधायक बोल रहे हैं, इसका मतलब उनके पास कोई प्रमाण भी होगा. ऐसे में या तो वो कोर्ट जाएं या फिर कोई पीआईएल लगाएं और अपने आरोपों को साबित करे.
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महेश जोशी ने कहा कि लगता है सतीश पूनिया अंतर्यामी हैं, जिन्हें ये पता था कि होटल में कांग्रेस विधायक आपस में क्या चर्चा कर रहे हैं. महेश जोशी ने कहा कि वो व्यक्तिगत तौर पर सतीश पूनिया के बयान को कानूनी रूप से दिखाएंगे और उन पर कोई मुकदमा बनता है तो, व्यक्तिगत तौर पर वो खुद मानहानि का मुकदमा पेश करेंगे. उन्होंने खरीद-फरोख्त की जांच को लेकर कहा कि उन्होंने जांच एजेंसी बदलने के लिए नहीं कहा है और वो जल्द ही अपने बयान देने एजेंसियों के पास पहुंचेंगे.